[pj-news-ticker post_cat="breaking-news"]

झुंझुनूं (उदयपुरवाटी) : शहीद जय सिंह मां और पत्नी का रोकर बुरा हाल:तिरंगा यात्रा के साथ पार्थिव देह को गांव लेकर जा रहे


निष्पक्ष निर्भीक निरंतर
  • Download App from
  • google-playstore
  • apple-playstore
  • jm-qr-code
X
राजस्थानराज्य

झुंझुनूं (उदयपुरवाटी) : शहीद जय सिंह मां और पत्नी का रोकर बुरा हाल:तिरंगा यात्रा के साथ पार्थिव देह को गांव लेकर जा रहे

शहीद जय सिंह मां और पत्नी का रोकर बुरा हाल:तिरंगा यात्रा के साथ पार्थिव देह को गांव लेकर जा रहे

झुंझुनूं (उदयपुरवाटी) : झुंझुनूं के शहीद जयसिंह की पार्थिव देह को गुरुवार रात बेंगलुरु से लाया गया। शहीद का उनके पैतृक गांव में अंतिम संस्कार किया जाएगा। फिलहाल थाने से उनके गांव तक तिरंगा यात्रा निकालकर पार्थिव देह को लेकर जा रहे है। 5 किलोमीटर तक इस यात्रा में हजारों की संख्या में लोग मौजूद हैं।

शहदी जयसिंह 106 पैरा (टीए) एयरबोर्न बेंगलुरु सेंटर में तैनात थे। गुरुवार को जय सिंह का फिजिकल टेस्ट चल रहा था। इस दौरान वे अचेत होकर गिर गए। इसके बाद बेंगलुरु के आर्मी हॉस्पिटल ले जाया गया,जहां उनका निधन हो गया। डॉक्टर ने बताया कि जवान का निधन हार्ट अटैक से हुआ।

तिरंगा यात्रा के साथ पार्थिव देह लेकर जा रहे
फिलहाल उदयपुरवाटी उपखंड के गुढ़ागौड़जी थाने से फूलों से सजे ट्रक में शहीद की पार्थिव देह उनके गांव दूड़ियां लेकर जा रहे है। तिरंगा यात्रा में शहीद जयसिंह अमर रहे के नारे लगाए जा रहे है। जयपुर से जाट रेजीमेंट की टुकड़ी गार्ड ऑफ ऑनर देगी।

मां-पत्नी का रोकर बुरा हाल
शहीद के परिवार को शुक्रवार सुबह पता लगा तो माहौल गमगीन हो गया। शहीद वीरांगना सोनू और मां संतरा देवी का रो-रोकर बुरा हाल हो रहा है। वीरांगना सोनू की छोटी बहन और देवरानी वीरांगना वर्षा शहीद के पिता ताराचंद बांगड़वा आदि भी अपने आंसू नहीं रोक पा रहे हैं। इससे पहले रात भर ग्रामीणों ने इस बात को परिवार से छुपाकर रखा था।

2013 में हुई थी शादी
शहीद जयसिंह और उनके छोटे भाई पिंटू कुमार की शादी 2013 में किठाना निवासी सगी बहनें सोनू और वर्षा से हुई थी। बता दें छोटा भाई पिंटू कुमार अप्रैल 2021 में आगरा में अभ्यास के दौरान चोट लगने से घायल हो गए थे। करीब 7 महीने बाद इलाज के दौरान उनका भी निधन हो गया था।

दोनों शहीद भाईयों का परिवार के साथ फाइल फोटो
दोनों शहीद भाईयों का परिवार के साथ फाइल फोटो

 

दो बेटे दोनों 11 महीने में देश के लिए हुए शहीद
ताराचंद के दो बेटे थे और दोनो ही महज 11 महीने के अंतराल में देश के लिए शहीद हो गए। छोटा बेटा पिंटू कुमार 11 महीने पहले नवंबर 21 में शहीद हो गया था। उसके दुख से अभी उबरे भी नहीं थे कि बड़े बेटे की देह तिरंगे में लिपटकर आ गई। छोटे बेटे की पहली पुण्य तिथि पर मूर्ति का अनावरण करना था लेकिन इससे पहले ही बड़े बेटे की शहादत की सूचना आ गई। गुरुवार रात 10.30 बजे पार्थिव देह गुढ़ागौड़जी पहुंच गई। रात को संस्कार स्कूल गुढ़ागौड़जी पहुंच गया। शुक्रवार को सुबह तिरंगा यात्रा निकालने की तैयारी शुरू हो गई है। धीरे-धीरे लोग पुलिस थाने के सामने और संस्कार स्कूल के पास एकत्रित होने लगे हैं।

तिरंगा यात्रा में बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए हैं। यह यात्रा करीब 5 किमी तक निकाली जाएगी।
तिरंगा यात्रा में बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए हैं। यह यात्रा करीब 5 किमी तक निकाली जाएगी।

 

देश और दुनिया की ताज़ा खबरें सबसे पहले जनमानस शेखवाटी पर फॉलो करें जनमानस शेखवाटी को और डाउनलोड करे–जनमानस शेखवाटी की एंड्राइड एप्लिकेशन. फॉलो करें जनमानस शेखवाटी को फेसबुकयूट्यूबटिवीटर वेब न्यू.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *