चुनावी मिशन 2030 के लिए सुझाव लेने लोगों के बीच पहुंचेंगे सीएम; नौ दिन इन 18 जिलों की करेंगे यात्रा
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत 27 सितंबर से प्रदेश में नौ दिन यात्रा निकालेंगे। 18 जिलों के दस मंदिरों में पूजा-अर्चना से यात्रा का करेंगे आगाज। जयपुर के बिड़ला सभागार में बुधवार को राज्य स्तरीय कार्यक्रम होगा।

जयपुर : मुख्यमंत्री अशोक गहलोत विधानसभा चुनाव से पहले मिशन-2023 अभियान के तहत 27 सितंबर से 18 जिलों के नौ दिवसीय दौरे पर रहेंगे। इस मिशन के तहत वह राजस्थान को मॉडल राज्य बनाने के लिए लोगों से सुझाव मांगेंगे। जन घोषणा पत्र से पहले इसे इनपुट जुटाने का बड़ा प्रोग्राम माना जा रहा है। इसके आधार पर राज्य विधानसभा चुनाव की रणनीति भी सीएम साधेंगे।
सीएम की यह यात्रा अगले नौ दिन में 3160 किलोमीटर चलेगी। कांग्रेस सूत्र बताते हैं कि अपनी यात्रा के तहत गहलोत जयपुर, सीकर, चूरू, नागौर, हनुमानगढ़ श्रीगंगानगर, बीकानेर, जैसलमेर बाड़मेर, जोधपुर, पाली, सिरोही जालौर, राजसमंद, उदयपुर, डूंगरपुर, बांसवाड़ा और चित्तौड़गढ़ ज़िलों का दौरा करेंगे।
मुख्यमंत्री इन 18 जिलों के प्रमुख और प्रसिद्ध मंदिरों में पूजा-अर्चना कर यात्रा में लोगों से मिशन 2030 के लिए सुझाव लेंगे। यह सब पब्लिक से सीधे जुड़ाव के लिए किया जा रहा है, ताकि जनता को राजस्थान के नवनिर्माण के सपने में अपनी भागीदारी नज़र आए और जुड़ाव महसूस हो, माना जा रही है। उन प्रमुख सुझावों पर काम चुनाव घोषणा पत्र में उन्हें शामिल कर शुरू कर दिया जाएगा।
38 विधानसभा क्षेत्रों पर विशेष फोकस
यात्रा के तहत 38 विधानसभा क्षेत्र पर फोकस रहेगा। 16 स्थान पर जनता से संवाद का कार्यक्रम होगा। 11 टाउन हॉल मीटिंग होगी। पांच रोड शो होंगे। 10 प्रसिद्ध मंदिरों में दर्शन होंगे। 10 नुक्कड़ सभाएं होंगी। चार स्थानों पर महिला सम्मेलन होंगे और 8 स्थानों पर युवाओं से सीएम संवाद करेंगे। कांग्रेस के लिए कमजोर सीटों पर फोकस की रणनीति बनाई गई है इन सीटों में खींवसर और जैसलमेर जैसी सीट भी शामिल है। यात्रा का पहला चरण 27 से 30 सितंबर तक होगा। दूसरा चरण 3 से 7 अक्टूबर तक होगा।
राजस्थान को 2030 तक मॉडल स्टेट बनाने की सोच और विजन में जन भागीदारी
राजस्थान को 2030 तक मॉडल स्टेट बनाने की सोच और विजन के साथ सीएम अशोक गहलोत पूरी तैयारी से जुटे हैं। इस साल के अंत में राजस्थान में विधानसभा चुनाव होने हैं और इसलिए यह अभियान महत्वपूर्ण है। क्योंकि चुनाव से पहले ही इसे शुरू किया जा रहा है। सात साल बाद तक की प्लानिंग मौजूदा विधानसभा चुनाव से पहले करने को सभी विधानसभा चुनाव से जोड़कर ही देख और समझ रहे हैं।
बुधवार दोपहर 12 बजे जयपुर के बिरला ऑडिटोरियम में सार्वजनिक संवाद सम्मेलन
सीएम गहलोत बुधवार दोपहर 12 बजे जयपुर के बिड़ला ऑडिटोरियम में एक सार्वजनिक सम्मेलन कर अपनी मिशन 2023 यात्रा की औपचारिक शुरुआत करेंगे। राज्य सरकार की ओर से साझा किए गए दौरे के कार्यक्रम के अनुसार विभिन्न वर्गों और ज्वेलर्स, रत्न व्यापारियों, ज्योतिषियों और कारीगरों के साथ सीएम संवाद और बातचीत कर फीडबैक लेंगे। फिर हेलीकॉप्टर से सीकर के रींगस स्थित श्री खाटू श्यामजी मंदिर और चूरू में सालासर बालाजी मंदिर भी दर्शन करने सीएम जाएंगे। सीएम जयपुर ग्रामीण में चौमूं शहर में बागवानों से बातचीत भी करेंगे।
पहले यह था कार्यक्रम जिसे किया गया स्थगित
इससे पहले सीएम ने पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना (ERCP) को राष्ट्रीय परियोजना का दर्जा देने की मांग के लिए पूर्वी राजस्थान में पांच दिवसीय यात्रा निकालने की प्लानिंग की थी। 13 जिलों की सिंचाई और पीने के पानी की जरूरतों को लेकर केंद्र सरकार को इसके जरिये घेरना था। लेकिन कांग्रेस पार्टी ने इसे स्थगित कर दिया और अब आदर्श आचार संहिता (MCC) लागू होने के बाद वह यात्रा निकाली जाएगी।
आचार संहिता लागू होने से पहले मिशन-2030 नाम से यात्रा
आचार संहिता लागू होने से पूर्व ‘मिशन-2030’ की कड़ी में मुख्यमंत्री की यात्राओं की योजना बनाई गई है। जिसके तहत सीएम गहलोत उत्तरी, पश्चिमी और दक्षिणी राजस्थान के 18 ज़िलों को कवर करेंगे। वह टाउन हॉल बैठकें, ‘युवा संवाद’, ‘महिला सम्मेलन’, सार्वजनिक कार्यक्रम आयोजित करेंगे और मंदिरों का दौरा भी करेंगे। सूत्रों ने बताया कि ‘मिशन-2030’ के तहत मुख्यमंत्री ने विकास विशेषज्ञों और नागरिकों के साथ गहन चर्चा करके 4.5 लाख से अधिक जानकारियां जुटाकर सुझाव एकत्र किए हैं। सरकार ने ये सुझाव जन कल्याण ऐप के जरिए मांगे हैं। इसके अतिरिक्त, ऑनलाइन और ऑफलाइन सर्वेक्षणों के माध्यम से 45 लाख से अधिक नागरिकों के 74 लाख से अधिक सुझावों के माध्यम से सार्वजनिक इनपुट जुटाए गए हैं।