महिला कृषकों के लिए दो दिवसीय प्रशिक्षण: खेती और पशुपालन में सशक्तिकरण पर जोर
महिला कृषकों के लिए दो दिवसीय प्रशिक्षण: खेती और पशुपालन में सशक्तिकरण पर जोर

झुंझुनूं : आत्मा कार्यालय के सभागार में शुक्रवार को दो दिवसीय महिला कृषकों के संस्थागत प्रशिक्षण का आयोजन किया गया, जिसमें 30 महिला कृषकों ने भाग लिया। इस दौरान महिलाओं को आधुनिक खेती और पशुपालन के क्षेत्र में सशक्त बनाने का प्रशिक्षण दिया गया । महिला अधिकारिता विभाग के उप निदेशक विप्लव न्यौला ने महिला कृषकों को मिश्रित खेती अपनाने की सलाह दी और कृषि में महिलाओं की भूमिका पर विस्तार से चर्चा की। उप निदेशक कृषि एवं पदेन परियोजना निदेशक (आत्मा) शीशराम जाखड़ ने वर्षा जल संरक्षण, इसके कुशल उपयोग, रासायनिक खेती के दुष्प्रभाव और किचन गार्डन की महत्ता पर प्रकाश डाला।
पशुपालन विभाग के उप निदेशक डॉ. सुरेश सुरा ने मंगला पशु बीमा योजना, नस्ल सुधार, पशुओं में होने वाली बीमारियों, उनकी रोकथाम और संतुलित पशु आहार के बारे में विस्तृत जानकारी दी। वहीं, उप परियोजना निदेशक (आत्मा) प्रमोद कुमार ने बागवानी पर उद्यान विभाग द्वारा अनुदान प्राप्त करने की प्रक्रिया, रबी फसलों की बुवाई का उचित समय, उन्नत बीज किस्में, बीजोपचार, सिंचाई और रबी फसलों में लगने वाले प्रमुख रोगों व कीटों की रोकथाम के बारे में बताया।
प्रशिक्षण के समापन पर एक प्रश्नोत्तरी कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसमें चंचल कंवर (अजीतगढ़), सुनिता टाई और संगीता सीगड़ा ने क्रमशः प्रथम, द्वितीय और तृतीय स्थान प्राप्त किया। उन्हें पुरस्कृत कर सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम में महिला अधिकारिता विभाग की सुपरवाइजर पूजा कुमारी, सरिता दनेवा, मोनिका, सरोज, टीना कुमारी, प्रबंधक सुशीला और तपेश कुमार भी उपस्थित रहे।