छात्र नेता का एडिशनल डीसीपी और एसीपी से हुआ विवाद:टैंट लगाने को लेकर हुई बहस, रेजिडेंट डॉक्टर की मौत के बाद धरने पर बैठे हैं परिजन
छात्र नेता का एडिशनल डीसीपी और एसीपी से हुआ विवाद:टैंट लगाने को लेकर हुई बहस, रेजिडेंट डॉक्टर की मौत के बाद धरने पर बैठे हैं परिजन

जोधपुर : जोधपुर में जहर खाकर खुदकुशी का प्रयास करने वाले जोधपुर के रेजिडेंट डॉक्टर की जयपुर में इलाज के दौरान मौत हो गई। इसके बाद परिजनों ने शव लेने से इनकार कर दिया। मामले को लेकर परिजन दो दिन से अस्पताल की मॉर्चरी के बाहर धरने पर बैठे हैं। आज छात्र नेता निर्मल चौधरी भी मौके पर पहुंचे। यहां निर्मल चौधरी, एडिशनल डीसीपी ईस्ट आशाराम चौधरी और एसीपी मालवीय नगर आदित्य पूनिया के बीच टैंट लगाने को लेकर विवाद हुआ।
पुलिस अधिकारी और निर्मल चौधरी टैंट लगाने की बात को लेकर उलझ पड़े। इसके बाद अन्य छात्र नेताओं ने बीच बचाव किया। निर्मल और उनके साथ कई छात्र नेता भी डॉक्टर की गिरफ्तारी की मांग को लेकर धरने पर बैठे हुए हैं।

कांग्रेस विधायक भी पहुंचे
वहीं, घटना की जानकारी मिलने पर कांग्रेस के विधायक अभिमन्यु पूनिया, आरएलपी सुप्रीमो हनुमान बेनीवाल सहित कई नेता परिजनों को सांत्वना देने के लिए धरना स्थल पहुंचे। इस मौके पर कांग्रेस विधायक और यूथ कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अभिमन्यु पूनिया ने कहा- जोधपुर अस्पताल में ईसीएमएओ मशीन नहीं होने के बावजूद डॉ राकेश बिश्नोई को जयपुर क्यों रेफर किया गया।
अभिमन्यु पूनिया ने कहा- उसने मरने से पहले अपने सीनियर डॉक्टर पर गंभीर आरोप भी लगाए लेकर कई दिन बीत जाने के बावजूद उस डॉक्टर के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हुई। परिजन जोधपुर के सीनियर डॉक्टर राजकुमार राठौड़ पर कार्रवाई की मांग कर रहे हैं।

प्रताड़ित होकर आत्महत्या का कदम उठाया
मृतक के भाई सुभाष बिश्नोई का कहना है कि उसके भाई ने डॉक्टर राजकुमार से प्रताड़ित होकर आत्महत्या का कदम उठाया और डॉ. राजकुमार ने उनके भाई को थीसिस पूरी नहीं कराने की धमकी दी थी। यह बात भाई ने पुलिस को भी बताई। इसका वीडियो दो दिन से सोशल मीडिया पर वायरल है।
मामले में मृतक के भाई किशन ने जोधपुर के शास्त्री नगर थाने में डॉक्टर राजकुमार राठौड़ के खिलाफ मुकदमा दर्ज करवाया है। पुलिस एक्शन नहीं होने पर आज परिवार को गुस्सा फूटा और रोड पर जमा हो गए।