झुंझुनूं : गैर शैक्षणिक कार्यों से मुक्त करने की लंबे समय से चल रही शिक्षकों की मांग पर शिक्षा विभाग ने नई व्यवस्था जारी की है। शिक्षा विभाग ने स्टाफ ड्यूटी मॉनिटरिंग मॉड्यूल जारी किया है, जिससे सरकारी स्कूलों के सभी शिक्षकों व कर्मचारियों के गैर शैक्षणिक कार्यों की मॉनिटरिंग की जा सके।
अब से सभी कर्मचारियों की प्रशिक्षण कार्यक्रमों, खेल गतिविधियों, चुनाव कार्यों, प्रश्न पत्र निर्माण, विज्ञान मेले सहित अन्य कामों में लगाई जाने वाली ड्यूटी केवल शाला दर्पण के मॉड्यूल से ही लगाई जाएगी।
आदेश के अनुसार अब से किसी भी कार्मिक को एक वर्ष में अधिकतम 15 दिन के लिए ही किसी गैर शैक्षणिक कार्य में लगाया जा सकता है। काम की अधिकता होने की स्थिति में मॉड्यूल के माध्यम से ही पूर्व नियत अवधि को अधिकतम 15 दिन तक बढ़ाया जा सकेगा। इससे पहले कई शिक्षक 10 साल तक के लिए भी स्कूल में पढ़ाने की जगह गैर-शैक्षणिक कार्यों में लगे हुए हैं।
शिक्षक संघ गौरव सैनानी शिक्षक संघ के राजपाल फोगाट ने बताया कि अब तक शिक्षकों को बड़ी संख्या में और लंबे समय के लिए गैर-शैक्षणिक कार्यों के लिए भेज दिया जाता था। इससे विद्यार्थियों की शिक्षा और अभिभावकों का सरकारी स्कूलों पर विश्वास समाप्त हो रहा था। स्टाफ ड्यूटी मॉनिटरिंग मॉड्यूल जारी कर शिक्षा विभाग ने एक अच्छी पहल की है।