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पोते को बक्से में रख ताला लगाकर भागे थे दादा-दादी:कॉल कर बोले- दूध पीकर मरा; 2500 रुपए फोनपे पर मांगे


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पोते को बक्से में रख ताला लगाकर भागे थे दादा-दादी:कॉल कर बोले- दूध पीकर मरा; 2500 रुपए फोनपे पर मांगे

पोते को बक्से में रख ताला लगाकर भागे थे दादा-दादी:कॉल कर बोले- दूध पीकर मरा; 2500 रुपए फोनपे पर मांगे

पिलानी : झुंझुनूं के पिलानी से 15 किलोमीटर दूर ढक्करवाला गांव में रविवार को 4 साल के पोते को बक्से में रख दादा-दादी लॉक लगाकर फरार हुए थे। दोनों का अभी तक सुराग नहीं लगा है। खेत मालिक रामपाल कुल्हार ने आरोपी सुरेश (50) और उसकी पत्नी रोशनी को लोहारू (भिवानी, हरियाणा) से 30 अगस्त को लाकर कपास बीनने के काम पर रखा था। पिलानी थानाधिकारी रणजीत सिंह सेवदा के अनुसार खेत मालिक और ग्रामीणों को सुरेश ने बताया था कि उसके पोते सूर्या के पिता का निधन हो चुका है। सूर्या की मां किसी और के साथ चली गई है। तब से वे सूर्या का पालन पोषण कर रहे हैं।

कपास के खेत में बने कमरे में आरोपी पति-पत्नी रहते थे। बच्चे को बक्से में बंद कर यहीं पर छोड़कर फरार गए।
कपास के खेत में बने कमरे में आरोपी पति-पत्नी रहते थे। बच्चे को बक्से में बंद कर यहीं पर छोड़कर फरार गए।

जांच में यह भी सामने आया है कि सुरेश ने फरार होने के बाद खेत मालिक रामपाल के बड़े बेटे भूपेश को 2 कॉल किए थे। रविवार सुबह 9.45 बजे उसका पहला फोन आया, जिसमें उसने कहा कि शराब के नशे में उससे गलती हो गई, उसने अपने पोते सूर्या को लोहे के ट्रंक (संदूक) में बंद कर दिया है। ट्रंक चेक कर लेना, मैं निकल गया हूं।

इसके कुछ देर बाद सुरेश ने भूपेश को दूसरा कॉल किया। इसमें कहा- दूध पीने के बाद सूर्या की तबीयत बिगड़ गई थी। उसकी मौत हो गई। मैंने उसको ट्रंक में बंद कर दिया। हो सके तो उसका अंतिम संस्कार करा देना। चीर-फाड़ मत कराना। मेरी मजदूरी का 2500 रुपया फोनपे कर देना। मैं गांव जा रहा हूं।

रामपाल के छोटे बेटे अनिल ने रविवार को पिलानी थाने में हत्या का मामला दर्ज कराया। हालांकि सुरेश और रोशनी की लोकेशन दिल्ली में मिलने की बात सामने आ रही थी, लेकिन पुलिस ने इसका खंडन किया है, पुलिस का कहना है कि आरोपी कहां है, अभी इसका सुराग नहीं लगा है। जानकारी में यह भी सामने आया है कि सुरेश ने पिलानी के भगत सिंह सर्किल के पास एक दुकान से अपने लिए सिम कार्ड खरीदा था। उसके पास दो आधार कार्ड थे।

खेती के काम के लिए कुएं पर बने कमरे पर ठहराया

रामपाल ने बताया कि सुरेश और रोशनी को कपास बीनने के लिए मजदूरी की दर तय करन के बाद कुएं पर बने कमरे में ठहरा दिया था। वे यहां 25 दिन से काम कर रहे थे। शनिवार शाम 7 बजे के बाद से सुरेश और रोशनी किसी को नजर नहीं आए।

दो फोन करने के बाद फोन स्विच ऑफ

भूपेश ने बताया कि दो बार कॉल करने के बाद सुरेश ने फोन स्विच ऑफ कर लिया। भूपेश अपने पिता रामपाल, भाई अनिल और अन्य ग्रामीणों के साथ कुएं पर पहुंचा। वहां कमरे में बक्सा मिला, जिस पर ताला लगा हुआ था। भूपेश ने रविवार सुबह 11 बजे पिलानी पुलिस को फोन किया। ढक्करवालां पहुंची पुलिस टीम में शामिल एएसआई सुभाष लाम्बा ने ग्रामीणों की मौजूदगी में बक्से का ताला तोड़कर कुंदी खोली तो उसमें बच्चे का शव मिला। पुलिस ने शव को बिरला सार्वजनिक अस्पताल की मोर्च्युरी में भिजवाया। इसके बाद पिलानी सीआई रणजीत सिंह सेवदा और चिड़ावा डीएसपी शिवरतन गोदारा ने भी मौका मुआयना किया। टीम ने कमरे, खेत, आस-पास के इलाके और गांव के मुख्य मार्ग पर लगे सीसीटीवी कैमरों के फुटेज देखे।

बच्चे के शरीर पर किसी भी प्रकार के चोट के निशान नहीं पाए गए हैं। ऐसे में रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों का खुलासा हो पाएगा।
बच्चे के शरीर पर किसी भी प्रकार के चोट के निशान नहीं पाए गए हैं। ऐसे में रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों का खुलासा हो पाएगा।

बेटे ने दर्ज कराया हत्या का मामला

मामले में रामपाल के छोटे बेटे अनिल की शिकायत पर सुरेश और रोशनी के खिलाफ अपने पोते सूर्या की हत्या का मामला दर्ज कराया है। पुलिस का कहना है कि मामले की जांच कर रहे हैं। अभी आरोपियों की सही लोकेशन की जानकारी नहीं मिली है। फोन बंद आ रहा है। शव का पोस्टमॉर्टम कराया जा रहा है। पोस्टमॉर्टम के बाद अंतिम संस्कार की व्यवस्था कराई जाएगी। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद मौत की वजह साफ होगी। बच्चे के शरीर पर चोट के निशान नहीं हैं। पहली नजर में दम घुटने से मौत होना लग रहा है। फिलहाल आरोपियों की तलाश में टीम एक्टिव हो गई हैं।

बिना पुख्ता जानकारी लिए न रखें मजदूर

पिलानी थानाधिकारी रणजीत सिंह सेवदा ने कहा कि मामले में खेत मालिक की भी लापरवाही सामने आई है। उनके पास सुरेश को लेकर कोई जानकारी नहीं है। उसका आधार कार्ड, कोई पहचान पत्र या कोई फोटो तक नहीं है। वे यूपी के थे या बिहार के, यह जानकारी भी नहीं है। झुंझुनूं इलाके में कपास बीनने के लिए हरियाणा से मजदूर लाए जाते हैं। अधिकतर मजदूर यूपी-बिहार के होते हैं। इन मजदूरों को खेतिहर मजदूरी पर रखने से पहले उनका पूरा रिकॉर्ड रखा जाना चाहिए। ताकि कोई वारदात होने के बाद उनके बारे में जानकारी हासिल की जा सके।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार सुरेश ने पिलानी के भगत सिंह सर्किल के पास एक दुकान से अपने लिए सिम कार्ड खरीदा था। उसके पास दो आधार कार्ड थे।

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