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जयपुर : 31 अगस्त को मनाया जाएगा अर्द्धघुमन्तू जनजाति दिवस, CM बोले- वंचितों को मुख्यधारा से जोड़ेंगे


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जयपुर : 31 अगस्त को मनाया जाएगा अर्द्धघुमन्तू जनजाति दिवस, CM बोले- वंचितों को मुख्यधारा से जोड़ेंगे

मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि विमुक्त, घुमन्तू, अर्द्धघुमन्तू जनजाति समुदाय (डीएनटी) ने स्वतंत्रता संग्राम में महत्वपूर्ण योगदान दिया। इसी वजह से अंग्रेजों ने क्रिमिनल ट्राइब्स एक्ट-1871 जैसा अत्याचारी कानून बनाकर इस समुदाय को प्रताड़ित किया। आजादी के बाद प्रधानमंत्री नेहरू ने इसे निरस्त किया था।

जयपुर : मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि संविधान की भावना के अनुरूप वंचित वर्गों को समाज की मुख्य धारा से जोड़ना राज्य सरकार का ध्येय है। विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू जनजाति समुदाय के उत्थान के लिए राज्य सरकार लगातार कदम उठा रही है।

गहलोत गुरूवार को मुख्यमंत्री निवास पर विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू जनजातियों के 72वें मुक्ति दिवस राज्यस्तरीय समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू जनजातियों (डीएनटी) के विकास के लिए 50 करोड़ के कोष की स्थापना की गई है। डीएनटी समाज की पारंपरिक कलाओं और उद्यम के लिए 5 करोड़ की राशि से डीएनटी रिसर्च और प्रिजर्वेशन सेंटर बनाया जा रहा है।

साथ ही, समाज के लोगों को ब्याज मुक्त ऋण उपलब्ध करवाने और कलाकारों को रोजगार व आर्थिक प्रोत्साहन देने का कार्य भी किया जा रहा है। समाज के विद्यार्थियों को आवास व शिक्षा उपलब्ध करवाने के लिए योजना लाई गई है। विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू समुदाय के उत्थान के लिए जल्द ही डीएनटी पॉलिसी लाई जाएगी।

अंग्रेजों ने क्रिमिनल ट्राइब्स एक्ट जैसा अत्याचारी कानून बनाया था 
मुख्यमंत्री ने कहा कि विमुक्त, घुमन्तू, अर्द्धघुमन्तू जनजाति समुदाय (डीएनटी) ने स्वतंत्रता संग्राम में महत्वपूर्ण योगदान दिया। इसी वजह से अंग्रेजों ने क्रिमिनल ट्राइब्स एक्ट-1871 जैसा अत्याचारी कानून बनाकर इस समुदाय को प्रताड़ित किया। आजादी के बाद प्रथम प्रधानमंत्री पं. जवाहर लाल नेहरू ने 1952 में इस दमनकारी कानून को निरस्त कर विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू जनजातियों पर हो रहे अन्याय को समाप्त किया। पंडित नेहरू ने ही 1955 में गाड़िया लोहार समुदाय को चित्तौड़गढ़ किले में प्रवेश दिलाया। पूर्व प्रधानमंत्री स्व. राजीव गांधी द्वारा लिए गए निर्णयों से डीएनटी समाज सहित सभी वंचित वर्गों को पंचायतीराज संस्थाओं में राजनीतिक प्रतिनिधित्व मिला।

31 अगस्त को मनाया विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू जनजाति दिवस
सीएम गहलोत ने हर वर्ष 31 अगस्त को विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू जनजाति दिवस के रूप में मनाए जाने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि पिछड़े वर्गों द्वारा अपने उत्थान के लिए सरकार से संबल प्राप्त करना उनका हक है। शिक्षा और स्वास्थ्य पर जोर देने और एकजुटता से ही वंचित समाजों की प्रगति संभव है। उन्होंने उपस्थित लोगों से अपने बच्चों को पढ़ाने का संकल्प लेने का आह्वान किया।

बनाए जा रहे हैं 2 हॉस्टल 
सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री टीकाराम जूली ने कहा कि जन्मजात हुनर वाले विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू समुदाय के लोगों के कल्याण के लिए राज्य सरकार लगातार फैसले ले रही है। समुदाय के विद्यार्थियों के लिए प्रदेश में 2 हॉस्टल बनाए जा रहे हैं। राज्य विमुक्त, घुमन्तू, अर्द्ध घुमन्तू बोर्ड की अध्यक्ष श्रीमती उर्मिला योगी ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा डीएनटी समुदाय के लिए गांवों में 150 वर्गगज और शहरों में 50 वर्गगज तक के पट्टों का निःशुल्क आवंटन किया गया है।

इस अवसर पर सार्वजनिक निर्माण मंत्री भजन लाल जाटव, राज्य विमुक्त, घुमन्तू और अर्द्धघुमन्तू बोर्ड उपाध्यक्ष  चतराराम देशबंधु, वंश लेखक अकादमी के अध्यक्ष राम सिंह राव, सामाजिक कल्याणऔर अधिकारिता विभाग के सचिव  समित शर्मा,  शंकर यादव,  राजकुमार सहित बड़ी संख्या में डीएनटी समाज के लोग उपस्थित थे।

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