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हरदेसर स्कूल का जर्जर बरामदा गिरा:ग्रामीणों और छात्रों ने लगाया ताला, बोले- छुट्टी न होती तो बड़ा हादसा हो सकता था


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हरदेसर स्कूल का जर्जर बरामदा गिरा:ग्रामीणों और छात्रों ने लगाया ताला, बोले- छुट्टी न होती तो बड़ा हादसा हो सकता था

हरदेसर स्कूल का जर्जर बरामदा गिरा:ग्रामीणों और छात्रों ने लगाया ताला, बोले- छुट्टी न होती तो बड़ा हादसा हो सकता था

सरदारशहर : सरदारशहर के हरदेसर गांव के राजकीय उच्च माध्यमिक स्कूल का जर्जर बरामदा रविवार को अचानक गिर गया। अवकाश होने के कारण कोई छात्र स्कूल में मौजूद नहीं था, जिससे बड़ा हादसा टल गया। घटना के 24 घंटे बाद भी कोई अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचा। इससे नाराज होकर सोमवार सुबह सैकड़ों ग्रामीणों और स्कूल के 442 छात्रों ने मिलकर स्कूल के मुख्य गेट पर ताला जड़ दिया। उन्होंने शिक्षा विभाग के खिलाफ जोरदार विरोध प्रदर्शन किया।

प्रदर्शन में शामिल छात्रों ने कहा, “हमारी किस्मत अच्छी थी कि रविवार का दिन था। अगर छुट्टी नहीं होती तो झालावाड़ जैसा हादसा हमारे साथ हो सकता था।” ग्रामीणों ने बताया कि जिस बरामदे का हिस्सा गिरा, वहां अक्सर बच्चे पढ़ाई करते हैं और मिड-डे मील भी वहीं खाते हैं।

ग्रामीण अनिल कुमार पूनिया ने बताया कि 2022 से 2024 तक कई बार शिक्षा विभाग और जिला प्रशासन को ज्ञापन देकर स्कूल भवन की जर्जर हालत से अवगत कराया गया था। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर अधिकारियों से संतोषजनक वार्ता नहीं हुई, तो हाईवे पर जाम लगाया जाएगा।

घटना में मरम्मत कार्य में लगे 40 वर्षीय मजदूर ख्यालीराम नायक गिरते बरामदे के नीचे दबकर घायल हो गए। स्कूल की स्थिति बेहद खराब है। 14 में से 8 कमरे जर्जर हैं। बारिश के दिनों में टीनशेड और बरामदे के नीचे ही कक्षाएं चलाई जाती हैं।

प्रदर्शन में चुनदास स्वामी, किशोरदास स्वामी, ख्यालीराम दुषाद, हरिराम नायक, बदरूराम, मोहनलाल, सोहनलाल, पवन कुमार, रणवीर, अनिल, नरेंद्र, नागरमल, विक्रमसिंह और नेमीचंद समेत कई ग्रामीण शामिल थे। बच्चों ने हाथों में तख्तियां लेकर चेतावनी दी है कि अगर जल्द स्कूल भवन को नया नहीं बनाया गया, तो मेगा हाईवे जाम कर आंदोलन किया जाएगा।

घटना को 24 घंटे बीतने के बाद भी सरकारी अधिकारी या जिम्मेदार व्यक्ति के मौके पर नहीं पहुंचने से ग्रामीणों में रोष है। जिले लेकर गांव के लोगों ने एकजुट होकर स्कूल में तालाबंदी की।

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