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छापड़ा गांव में बेटियों को मिला सम्मान: घोड़ी पर बैठाकर निकाली गई बिनोरी, गांव में मना जश्न


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छापड़ा गांव में बेटियों को मिला सम्मान: घोड़ी पर बैठाकर निकाली गई बिनोरी, गांव में मना जश्न

छापड़ा गांव में बेटियों को मिला सम्मान: घोड़ी पर बैठाकर निकाली गई बिनोरी, गांव में मना जश्न

जनमानस शेखावाटी संवाददाता : निरंजन सैन

पिलानी : पिलानी क्षेत्र के छापड़ा गांव में एक प्रेरणादायक और समाज को नई दिशा देने वाला दृश्य देखने को मिला। यहां गांव की बेटी सोनिया छाछीया को विवाह से पूर्व पारंपरिक रीति-रिवाज के तहत घोड़ी पर बैठाकर पूरे गांव में बिनौरी निकाली गई। यह आयोजन सिर्फ एक रस्म नहीं था, बल्कि समाज में बेटियों के समान अधिकारों और सम्मान का प्रतीक बन गया। सोनिया छाछीया, स्व. रोशनलाल छाछीया की पुत्री हैं। भाई मिंटू छाछीया ने बहन के विवाह को खास और यादगार बनाने के लिए यह अनोखी पहल की। डीजे की धुनों के साथ जब सोनिया को घोड़ी पर बैठाकर गांव में बिनोरी निकाली गई, तो पूरा गांव इस ऐतिहासिक पल का गवाह बना। हर गली, हर मोड़ पर लोगों की भीड़ उमड़ी हुई थी, और हर चेहरे पर बेटियों के प्रति सम्मान और गौरव की झलक दिखाई दे रही थी।

मिंटू छाछीया ने इस अवसर पर कहा, “आज का समाज बेटा-बेटी में कोई भेद नहीं करता। हमें बेटियों को भी वही अधिकार और मान-सम्मान देना चाहिए जो बेटों को मिलता है। यह परंपरा सिर्फ बेटों के लिए क्यों? बेटियां भी परिवार की शान होती हैं।”

समाज सेवी समुंद्र सिंह शेखावत ने भी इस पहल की सराहना करते हुए कहा, “आज की बेटियां किसी भी क्षेत्र में बेटों से पीछे नहीं हैं। वे शिक्षा, खेल, विज्ञान और समाज सेवा सभी क्षेत्रों में आगे बढ़ रही हैं। ऐसे आयोजन समाज को सकारात्मक दिशा देते हैं और हमें सोचने पर मजबूर करते हैं कि हर बेटी एक सम्मान की हकदार है।” इस दौरान परिवार सहित सैकड़ों ग्रामीण मौजूद रहे।

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