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रमजान का पाक महिना ‌ हमें दूसरों के प्रति जिम्मेदारीयो का एहसास दिलाता है – हांजी मौलाना अहमद अली शाह ‌ शहर काजी चुरु


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रमजान का पाक महिना ‌ हमें दूसरों के प्रति जिम्मेदारीयो का एहसास दिलाता है – हांजी मौलाना अहमद अली शाह ‌ शहर काजी चुरु

रमजान का पाक महिना ‌ हमें दूसरों के प्रति जिम्मेदारीयो का एहसास दिलाता है - हांजी मौलाना अहमद अली शाह ‌ शहर काजी चुरु

जनमानस शेखावाटी संवाददाता : मोहम्मद अली पठान

चूरू : जिला मुख्यालय पर ‌ शहर काजी हाजी मौलाना अहमद अली शाह ने ‌ माहे रमजान की मुबारकबाद पेश की कहा रमजान का पाक महीना 2 मार्च से शुरू होकर 31 मार्च तक रमजान का महीना रहेगा। इस साल रमजान महीने में पूरे 30 रोजे रखे जाएंगे। 1 अप्रैल को ‌ इंशा अल्लाह ईद-उल-फितर। इस्लामीक कैलेंडर के हिसाब से ‌ चांद दिखने पर ‌ मनाई जाएगी रमजान का 9 वां महीना होता है। मुस्लिम समुदाय में 12 माह में एक महीना रमजान का आता है।

रमजान पवित्र महीने ‌ का नाम है इस एक माह में रोजे रखे जाते हैं। सूर्य उदय होने से पहले शहरी की जाती है। शहरी करते समय जो दुआ मांगी जाती है वह कबूल हो जाती है। रोजा एक इबादत है जो मर्द और औरत व ‌ बालिग बच्चौ पर फर्ज है। रोजा रखने की बरकत यह है की अल्लाह ताला उसके गुनाहों को माफ कर देता है। जब रमजान महीने का चांद नजर आता है तब ‌ जहन्नुम के दरवाजे बंद कर दिए जाते हैं और जन्नत के दरवाजे खोल दिए जाते हैं। रोजा रखने के बाद रोजेदार कुरान शरीफ की तिलावत, नमाज, तराबी पढ़ कर दिन ‌ भर इबादत में गुजरता है।

रमजान के पवित्र महीने में गरीबों की मदद करना,गरीब को कपड़े देना, गरीबों को खाना खिलना, जकात, फित्रा देना पुण्य का काम है। रोजा रखने से हमारे शरीर से कई बीमारियां कट जाती है। रमजान महीने पर हर शख्स पर फितरा लाजमी है। एक व्यक्ति का फितरा 2 किलो 50 ग्राम गेहूं, चावल, या बाजार तौलकर जरूरतमंद इंसानों को देते हैं।

रमजान का माह में जकात अपनी नेक कमाई में से 1000 रूपए पर 25 रूपए के हिसाब से जकात लगती है। सोना 7.50 तोला, ओर चांदी 52.50 तोला यदि घर में मौजूद है तो उसकी भी जकात लाजमी है। चाहे उतने वजन की रकम हो ‌ तो उसकी भी जकात लगेगी एक माह रमजान के बाद ईद का त्यौहार आता है जो मुस्लिम समुदाय का सबसे बड़ा त्योहार होता है।

माहे रमजान में 12 से 14 घंटे तक रोजा रखा जाता है, जिनसे हमारे पाचन- तंत्र को आराम करने का मौका मिलता है। यूनिवर्सिटी आफ टैक्सन की । रिसर्च के मुताबिक खाली पेट रहने व कम मात्रा में खाना खाने से शरीर की सूजन कम होती है। ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है। कई अंदरूनी बीमारियों से निजात मिलती है। लिवर अच्छा रहता है और वजन कम करने में रोजा काफी फायदेमंद होता है। रोजा फर्ज है।

 

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