45 गौवंश को तस्करों से मुक्त कराया:तस्कर फरार; बाइक, मोबाइल और पक्षियों को पकड़ने का जाल बरामद
45 गौवंश को तस्करों से मुक्त कराया:तस्कर फरार; बाइक, मोबाइल और पक्षियों को पकड़ने का जाल बरामद

पिलानी : पिलानी में बीती रात रायला गांव में गौ रक्षा दल और हिन्दू क्रांति सेना के कार्यकर्ताओं ने सजगता दिखाते हुए 45 गौ वंश को तस्करों से बचा लिया। रात 2 बजे गौ वंश को बचाने के लिए ऑपरेशन शुरू किया गया था, इस दौरान पिलानी थाने की पुलिस टीम भी मौके पर पहुंची थी, हालांकि घने कोहरे और अंधेरे का लाभ उठा कर गौ तस्कर फरार हो गए।
हिन्दू क्रांति सेना के लोकेश डाडा ने पुलिस को दी रिपोर्ट में बताया है कि गौरक्षा दल के मुखबिर के माध्यम से शनिवार सुबह गौवंश की तस्करी की सूचना मिलने पर पूरे दिन गौ रक्षा दल और हिन्दू क्रांति सेना के कार्यकर्ताओं ने मामले पर नजर बनाए रखी। शाम 7 बजे के बाद गौ तस्करों के रायला गांव की ओर जाने की सूचना मिलने पर सक्रिय हुए कार्यकर्ताओं ने आखिरकार देर रात गौवंश और तस्करों को गांव के बाहर की तरफ एक खाली पड़ी जमीन पर ढूंढ निकाला। तस्करों की पुख्ता जानकारी और लोकेशन मिलने के बाद पुलिस कंट्रोल रूम और पिलानी पुलिस को इसकी सूचना दी गई। भीषण सर्दी में रात 2 बजे पिलानी थाने की पुलिस टीम रायला गांव पहुंची जिसके बाद गौरक्षा दल व हिन्दू क्रांति सेना के कार्यकर्ताओं ने गौवंश को बचाने की कार्रवाई शुरू की।
हिन्दू क्रांति सेना के प्रदेश अध्यक्ष विकास डूमोली ने बताया कि पुलिस को मौके पर पक्षियों को पकड़ने के 4-5 जाल, एक गुलेल व एक तीतर का अवशेष और एक गोवंश का टूटा हुआ सींग मिला। इसके अलावा फरार हुए गौ तस्करों की एक मोटर साइकिल व एक मोबाइल भी पुलिस ने बरामद किए हैं। मौके पर हरियाणा निर्मित शराब की खाली बोतल भी मिली है।
गौरक्षक अजीत कस्वां ने बताया कि तस्करों ने 40-45 गौवंश को रस्सों से बहुत क्रूरता से बांध रखा था। गायों के मुंह एवं पैरों को बांध कर रखा गया था ताकि वे किसी तरह की आवाज न कर पाए। यही नहीं 10-15 गौवंश को नशीली दवाई दी हुई थी, जिसकी वजह से उनके मुंह से झाग भी निकल रहे थे।
पिलानी पुलिस के जवानों, गौ रक्षा दल और हिन्दू क्रांति सेना के कार्यकर्ताओं ने गौ तस्करों को आस-पास काफी तलाश किया गया लेकिन अंधेरे व कोहरे का फायदा उठाकर सभी फरार हो गए। बाद में सुबह होने पर तस्करों के चंगुल से मुक्त कराए गए सभी गौवंश को पिलनी में पहाड़ी रोड़ पर गौशाला के पास बने एक नोहरे में लाया गया जहां उनको चारा पानी दिया गया है।