पोखरण (जैसलमेर) : पोकरण (जैसलमेर) के खेतोलाई गांव की रहने वाली ट्रेनी पायलट पुणे में सड़क हादसे में गंभीर घायल हो गई थी। 9 दिन कोमा में रहने के बाद मंगलवार को पुणे के प्राइवेट हॉस्पिटल में उसकी मौत हो गई। इसके बाद परिवार ने उसके हार्ट, लिवर, दोनों किडनी और पैंक्रियाज को डोनेट कर दिया।
चेष्टा बिश्नोई (21) एक साल पहले पुणे में पायलट की ट्रेनिंग लेने गई थी। वह बारामती की रेडबर्ड फ्लाइट ट्रेनिंग अकादमी में ट्रेनिंग ले रही थी। चेष्टा को 200 घंटे का ट्रेनिंग पीरियड पूरा करना था। इसमें से उसने 68 घंटे की ट्रेनिंग पूरी कर ली थी।
पेड़ से टकरा गई थी गाड़ी जानकारी के अनुसार, चेष्टा 9 दिसंबर को बारामती से ट्रेनिंग के लिए अपने दोस्तों के साथ जा रही थी। इसी दौरान उसकी कार पेड़ से टकराकर पलट गई। कार में चार लोग सवार थे। इनमें 2 लोगों तक्षु शर्मा और आदित्य कनासे की मौत हो गई थी। चेष्टा कोमा में चली गई थी। जबकि एक अन्य गंभीर घायल हो गया था।
चेष्टा 9 दिन कोमा में रही। 17 दिसंबर को उसने पुणे के निजी हॉस्पिटल रूबी हॉल क्लिनिक में दम तोड़ दिया। इसके बाद चेष्टा के माता, पिता, भाई और चाचा ने उसके अंगदान करने का निर्णय किया। चाचा मंगलाराम ने बताया- चेष्टा का हार्ट, लिवर, दोनों किडनी और पैंक्रियाज डोनेट किया गया है।
दादा रहे हैं सरपंच चेष्टा का शव एयरलिफ्ट कर बुधवार दोपहर 3:30 बजे जैसलमेर लाया गया। जैसलमेर से एंबुलेंस से शव शाम 5:30 बजे खेतोलाई गांव लाया गया। शाम करीब 6 बजे चेष्टा का अंतिम संस्कार किया गया।
चेष्टा के परदादा खेतोलाई गांव के सरपंच रहे हैं। चेष्टा के पिता ज्योति प्रकाश बिश्नोई पोकरण में इंडेन गैस एजेंसी चलाते हैं। घर में माता सुषमा बिश्नोई के अलावा उसके एक भाई भी है।
चेष्टा के निधन पर पोकरण विधायक महंत प्रतापपुरी, पूर्व मंत्री शाले मोहम्मद समेत अन्य जनप्रतिनिधियों ने शोक जताया है।