चंवरा के मोरिंडा धाम श्रीमद्भागवत कथा में धूमधाम से मनाया कृष्ण जन्मोत्सव
कथा में सजी कृष्ण जन्मोत्सव की संजीवन झांकी

जनमानस शेखावाटी संवाददाता : जेपी महरानियां
चंवरा : कस्बे के मोरिंडा धाम में चल रही श्रीमद्भागवत कथा में रविवार को चौथे दिन कथावाचक आचार्य दिनकर महाराज ने गजेंद्र मोक्ष, समुद्र मंथन, राजा वलिचरित्र, वामन अवतार, राम अवतार, कृष्ण अवतार के प्रसंग का वर्णन किया। कथा में यजमानो द्वारा पूजा अर्चना की गई। कथा में कृष्ण जन्मोत्सव धूमधाम से मनाया गया। कृष्ण जन्म की संजीवन झांकी सजाई गई। कथावाचक ने कहा कि सत्य परेशान हो सकता है लेकिन कभी भी पराजित नहीं हो सकता। मनुष्य को हमेशा सत्य का आचरण करना चाहिए। सत्य से बढ़कर कोई दूसरा धर्म नहीं हो सकता। सत्य के वचन के पालन के लिए सतयुग में राजा हरिश्चंद्र ने अपना सब कुछ भगवान को दे दिया और स्वयं मणिकर्णिका के घर बनारस में समय बिताया। परीक्षा में सफल होने के बाद भगवान ने राजा हरिश्चंद्र को राजपाट लौटाते हुए सत्यवादी राजा की उपाधि प्रदान की।
कथावाचक ने कहा कि हमारा जीवन कठपुतली की तरह है जैसे कठपुतली का नृत्य दिखाने वाला मदारी अपने अंगूठे में धागा बांधकर उसे नृत्य कराता है लेकिन धागा दिखाई नहीं देता। इसी प्रकार परमात्मा भी संसार के सभी प्राणियों को नचाता है। लेकिन वह हमें दिखाई नहीं देता। परमात्मा हमें कभी राजा, कभी रंक तो कभी फकीर बना देता है। यह हमारे स्वयं के कर्मों पर निर्भर करता है। बीच-बीच में नंद के घर आनंद भयो जय कन्हैया लाल की जैसे भजनों की रंगारंग प्रस्तुतियों पर श्रद्धालु थिरक उठे। महाआरती के बाद उपस्थित श्रद्धालुओं को प्रसाद वितरित किया गया। मंदिर कमेटी द्वारा श्रद्धालुओं के कथा स्थल तक आवागमन के लिए वाहनों की व्यवस्था भी कर रखी है। इस दौरान मोरिंडा धाम के महंत रघुनाथ दास महाराज, हंसलाना धाम के महंत हनुमानदास मोनी महाराज, मंदिर कमेटी अध्यक्ष गजराज सिंह शेखावत सहित काफी संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे।