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गांव के बच्चों की जिद: सर नहीं आएंगे तो हम भी नहीं आयेगे स्कूल, बच्चों ने स्कूल को जड़ा ताला


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गांव के बच्चों की जिद: सर नहीं आएंगे तो हम भी नहीं आयेगे स्कूल, बच्चों ने स्कूल को जड़ा ताला

प्रधानाध्यापक निलंबन के विरोध में छात्रों व ग्रामीणों का धरना

जनमानस शेखावाटी संवाददाता : रविन्द्र पारीक 

डूमरा : नवलगढ़ ब्लॉक के डूमरा गांव स्थित घीसा की ढाणी राजकीय प्राथमिक विद्यालय में पोषाहार की गुणवत्ता और प्रशासनिक अनियमितताओं के चलते प्रधानाध्यापक पवन कुमार के निलंबन के विरोध में सोमवार को ग्रामीणों और छात्रों ने स्कूल पर ताला जड़ दिया। ग्रामीणों ने सरपंच बुधराम महला के नेतृत्व में विद्यालय के बाहर धरना शुरू कर दिया और ऐलान किया कि जब तक प्रधानाध्यापक पवन कुमार की बहाली नहीं होती, तब तक स्कूल नहीं खोला जाएगा और बच्चे भी स्कूल नहीं जाएंगे।

धरने में ग्रामीणों के साथ बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएं भी शामिल रहे। धरनास्थल पर भागीरथ मल (पूर्व उपसरपंच), रणधीर, सावलराम, मंगेज सिंह, मनफूल, प्यारेलाल, विद्याधर, विनोद, कमल, श्रवणी देवी, सुभीता देवी, सीणगारी, मीरा, कमला, बरजी देवी, कृष्णा, तारा समेत अनेक ग्रामीण उपस्थित रहे। मौके पर पहुंचे मुख्य विकास अधिकारी (सीडीओ) अशोक शर्मा ने ग्रामीणों और बच्चों को समझाने की कोशिश की, लेकिन सभी अपनी मांग पर अड़े रहे।

स्थानीय निवासी संजय जांगिड़ ने बताया कि स्कूल के बच्चे काफी नाराज हैं। उनका कहना है कि शिक्षण कार्य बुरी तरह प्रभावित हो रहा है और परीक्षा भी सिर पर है। 24 अप्रैल से स्कूल में वार्षिक परीक्षाएं शुरू होनी हैं, लेकिन इस माहौल में बच्चों की पढ़ाई पूरी तरह ठप हो चुकी है। ग्रामीणों ने शिक्षा विभाग के अधिकारियों से जल्द से जल्द उचित समाधान निकालने की मांग की है।

सरपंच बुधराम महला (प्रशासक) ने आरोप लगाया कि यह पूरा घटनाक्रम एक राजनीतिक षड्यंत्र के तहत रचा गया है। उन्होंने बताया कि मामले से स्थानीय विधायक को अवगत कराया गया है, जिन्होंने उचित आश्वासन दिया है।

क्या है मामला?
दरअसल, जिला शिक्षा अधिकारी (प्रारंभिक) द्वारा गत गुरुवार को घीसा की ढाणी स्थित राजकीय प्राथमिक विद्यालय में औचक निरीक्षण किया गया था। निरीक्षण के दौरान पोषाहार में निर्धारित मात्रा से कम गेहूं व अधिक मात्रा में चावल पाया गया। चावलों में कीड़े लगे हुए थे, जो पोषाहार की खराब गुणवत्ता को दर्शाता है।

इसके अलावा विद्यालय की कैश बुक में पिछले एक वर्ष से एसएमसी अध्यक्ष के हस्ताक्षर नहीं थे, जबकि नियमों के अनुसार हर महीने की एसएमसी बैठक के दिन अध्यक्ष के हस्ताक्षर अनिवार्य होते हैं। वाउचर्स भी अपूर्ण और संदिग्ध पाए गए। इस आधार पर प्रधानाध्यापक पवन कुमार को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया। निलंबन की अवधि में उन्हें सीबीईओ कार्यालय, खेतड़ी में उपस्थित रहने के आदेश जारी किए गए हैं।

जिला शिक्षा अधिकारी ने बताया कि विद्यालय रिकॉर्ड की विस्तृत जांच की जाएगी और जांच रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्यवाही तय की जाएगी।

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