राजेंद्र गुढा के घर पर मदद की गुहार लगाते हजारों लोग पहुंचे, आखिर क्या था पूरा मामला
वन विभाग के कर्मचारी और सूरदास समाधि स्थल विवाद में पूर्व मंत्री राजेन्द्र गुढ़ा की एंट्री, हजारों श्रद्वालुओं के आग्रह पर पुर्व मंत्री गुढ़ा ने मौके पर पहुंचकर खुलवाये समाधि स्थल के पट
उदयपुरवाटी : कस्बे के निकटवर्ती ग्राम पंचायत बागोरा के राजस्व ग्राम गिरावड़ी में स्थित सुरदास समाधि पर हजारों श्रद्वालुओं के बीच में पूर्व मंत्री राजेन्द्र सिंह गुढ़ा पहुंचे। समाधि पर उपस्थित श्रद्वालुओं के अनुसार व वायरल विडियों में वन विभाग के कार्मिक रघुवीर व एक महिला कार्मिक तीन-चार दिन से समाधि स्थल पर आकर पुजारी व भक्तजनों के साथ में धक्का मुक्की कर समाधि को तोड़ने की धमकी दे रहे थे। वन विभाग के कार्मिकों द्वारा मना करने पर शुक्रवार से ही पुजारी मंदिर में नहीं आ रहा था।
शनिवार को समाधि स्थल पर धोक व तांती-भभूती लेने व झाड़ा लगवाने आये भक्तजनों को समाधि स्थल पर पुजारी नहीं मिलने के चलते वहां मौजूद सैकड़ो भक्त नजदीक में ही स्थित पूर्व मंत्री राजेन्द्र सिंह गुढ़ा के फार्म हाऊस पर चले गये। वहां पूर्व मंत्री गुढ़ा से समाधि स्थल पर मंदिर के पुजारी को बुलाकर झाड़ा लगवाने की मांग करने लगे। जिसके बाद पूर्व मंत्री राजेन्द्र गुढ़ा भी उनके साथ समाधि स्थल पर पहुंचकर सभी भक्तजनों से वार्ता कर समाधि स्थल के बारे में जानकारी ली। जानकारी लेने के बाद में समाधि के पुजारी को मौके पर बुलाकर वन विभाग के कार्मिक रघुवीर से फोन पर बात कर श्रद्धालुओं को पुजारी प्रकाश से झाड़ा लगवाना शुरू करवाया।
राजेन्द्र सिंह गुढ़ा ने कहा कि जब लोगों से बातचीत की गई तो उन्हे संतोषजनक जबाब मिला है। समाधि स्थल पर लोग अपनी आस्था लेकर आते हैं। उनके आराम आता है तभी तो इतनी दूर जंगल में झाड़ा लगवाने आते है। वन विभाग के कार्मिक बेवजह आम जन को परेशान नहीं करें। इससे पहले समाधि स्थल के नजदीक में लगी अस्थाई लोहे की दुकानों को शुक्रवार को ही धमकाकर हटा दिया गया था। इसके साथ ही अस्थाई दुकान लगाकर प्रसाद बेचने वालों को मुकदमा लगाकर फंसाने की भी बात वन विभाग के कार्मिकों ने बोल दी। वही रघुवीर वनपाल वन विभाग उदयपुरवाटी का कहना है कि वन विभाग की भूमि पर अतिक्रमण किया जा रहा था। मैंने मौके से अतिक्रमण हटाया है। समाधि स्थल की पूजा करने से मेरे द्वारा किसी प्रकार की बाधा नहीं डाली गई है। मैं स्वयं ईश्वर में आस्था रखता हुं।