शिक्षा मंत्री बोले-राष्ट्रपिता के नाम थर्ड क्लास स्कूल खोले:बोले- न अंग्रेजी बोलने वाले टीचर थे न बिल्डिंग; ट्रांसफर में भ्रष्टाचार मिला तो इस्तीफा दे दूंगा
शिक्षा मंत्री बोले-राष्ट्रपिता के नाम थर्ड क्लास स्कूल खोले:बोले- न अंग्रेजी बोलने वाले टीचर थे न बिल्डिंग; ट्रांसफर में भ्रष्टाचार मिला तो इस्तीफा दे दूंगा

अलवर : शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार में बने महात्मा गांधी स्कूलों को थर्ड क्लास बताया। कहा- कांग्रेस सरकार ने पहले फेज तक सही स्कूल खोले थे, लेकिन बाद में तो जहां भवन नहीं वहां भी अंग्रेजी माध्यम स्कूल खोल दिए। हिंदी के टीचर अंग्रेजी पढ़ा रहे हैं।
मैं अंग्रेजी पढ़ाने या सिखाने का विरोधी नहीं हूं, लेकिन अंग्रेजी पढ़ाने वाले टीचर तो होने चाहिएं। पिछली सरकार ने बिना सोचे-समझे पुराने स्कूलों पर अंग्रेजी माध्यम स्कूल के बोर्ड टांग दिए। इसलिए ये स्कूल अच्छे कैसे हो सकते हैं? अब हम इसकी समीक्षा कर रहे हैं। कमेटी जांच कर रिपोर्ट मंत्रिमंडल को सौंपेगी। इसके बाद मंत्रिमंडल तय करेगा। वैसे आधे से ज्यादा विधायक अंग्रेजी की बजाय हिंदी माध्यम स्कूल चलाने की मांग कर चुके हैं।
सोमवार को अलवर आए शिक्षा मंत्री मदन दिलावर से मीडिया कर्मी ने बातचीत की…
बोर्ड एग्जाम चल रहे हैं। सीबीएसई की तरह राजस्थान में भी क्या साल में दो बार एग्जाम करने पर विचार कर रहे हैं?
इसका अध्ययन करेंगे। छात्रों के हित में होगा वही करेंगे।
वाइस प्रिंसिपल के पद पर पदोन्नत भी कर रहे हैं और ये पद भी खत्म किया जाता रहा है। सही क्या है?
वाइस प्रिंसिपल के पद खत्म करने की बात कभी नहीं कही।
विधानसभा में दादी पर बहस होती है। सदन नहीं चलता है। फिर एक विधायक को पाकिस्तानी कह दिया गया। आप क्या मानते हैं विधानसभा का इन मुद्दों पर समय खराब हुआ है?
अभी प्रतिपक्ष मैच्योर नहीं है। पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी सबके लिए सम्माननीय हैं। उनको दादी कहना अपमानजनक नहीं सम्मानजनक है। इसी बात पर विरोध करना ये उनका बचपना है।
कांग्रेस के समय ग्रेड थर्ड टीचर के तबादले नहीं होने पर आप खूब सरकार व पूर्व मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा को घेरते थे। अब आप भी तबादले नहीं कर पा रहे हैं।
मैंने ग्रेड थर्ड टीचर के तबादलों पर कभी नहीं कहा। मैंने डोटासरा के भ्रष्टाचार व उनकी कार्यप्रणाली पर बोला था। सबको ध्यान होगा पूर्व सीएम अशोक गहलोत ने एक कार्यक्रम में टीचर से पूछा कि हमारे यहां ऐसा (ट्रांसफर में भ्रष्टाचार) तो नहीं चल रहा है। तब टीचर ने एक राय होकर हां कह दिया था।
कांग्रेस नेता कहते हैं कि जिस दिन बीजेपी के नेता तबादलों पर यही सवाल करेंगे तो यही वाकया दुबारा रिपीट हो सकता है?
वे अपने बच्चों की कसम खाकर कह दे कि मैंने पैसा दिया है। ऐसा हुआ तो मैं पद से रिजाइन भी कर जाऊंगा और उनको एक करोड़ गुना वापस भी लौटा दूंगा।
थर्ड ग्रेड टीचर के तबादले कब तक करेंगे। 80 हजार से अधिक वेटिंग में हैं?
हमारी पॉलिसी पाइपलाइन में है। उस पर गंभीरता से विचार हो रहा है। उसके बाद मंत्रिमंडल की स्वीकृति देगा। उसके बाद काम करेंगे।
महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम स्कूल पर आप विश्लेषण कर चुके होंगे। अब कैसे चलाने का मन है?
राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के नाम पर थर्ड क्लास स्कूल खोले गए। जिसमें टीचर नहीं, भवन नहीं और अंग्रेजी पढ़ाने वाले टीचर भी नहीं है। फिर अच्छे स्कूल कैसे हो सकते हैं। इन स्कूलों में नामांकन भी गिर गया। बालिका स्कूल को कॉ विद्यालय कर दिया। हिंदी पढ़ने वालों को स्कूल नहीं मिले।
यह सब सोचने से पहले प्लान करना होता है। इसके रिएक्शन व एक्शन पर विचार करना पड़ता है। लेकिन कांग्रेस ने बिना सोचे समझे खोल दिए। उन्होंने हिंदी माध्यम स्कूलों पर अंग्रेजी माध्यम स्कूलों के बोर्ड लगा दिया।
अब बीजेपी सरकार इन स्कूलों को बंद करेगी या नए सिरे से खड़ा करेगी?
सीएम ने कमेटी बनाई है। जैसा मंत्रिमंडल निर्णय देगा। वैसा किया जाएगा।

जब कांग्रेस सरकार ने महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम स्कूल खोले गए तब विपक्ष के रूप में पहले विरोध क्यों नहीं किया?
पहले विरोध किया था। बिना सोचे समझे ये स्कूल खोले गए। मैं अंग्रेजी का विरोधी नहीं हूं। अंग्रेजी पढ़ाने वाले भी चाहिए। कौन सिखाएगा?
सरकार सिखाएगी और सरकार अंग्रेजी टीचर लगाएगी?
उस समय की सरकार को तो जनता ने सिखा दिया। बहुत अच्छे से सिखा दिया।
आप टीचर नहीं लगाएंगे तो आपको भी सिखा देगी जनता?
मेरे पास 50 पर्सेंट से अधिक विधायकों के आवेदन हैं कि इन स्कूलों को हिंदी में चलाया जाए। इससे बच्चों का नुकसान हो रहा है।
कांग्रेस नेता गोविंद सिंह डोटासरा व आपके बीच बयानबाजी खूब चली है?
डोटासरा मेरे मित्र हैं। लेकिन उनके कारनामे ठीक नहीं हैं। वही जनता को बताता रहा हूं। मिड डे मिल में 1705 करोड़ रुपए का घोटाला हुआ। उनके मंत्री रहते हुए यह घोटाला हुआ है। यह जांच रिपोर्ट में आया है। इन्होंने पहले कमेटी बनाकर लिखवा लिया कि कोई घोटाला नहीं हुआ। लेकिन सीएजी की रिपोर्ट अलग थी। उसकी हम उच्च स्तरीय कमेटी से जांच कराएंगे।
अब तो डोटासरा को विधानसभा से बाहर करा दिया? अब डर गए क्या वो?
निलंबन की कार्यवाही माननीय अध्यक्ष करते हैं। ये उनके अधिकार में है। लेकिन परंपरा यही रही है कि कुछ मसला होने पर समझाइश होती है। गलती होने पर माननीय अध्यक्ष से माफी भी मांग ली जाती है। माफ भी किया जाता है। डोटासरा का निलंबन समाप्त हो चुका है। लेकिन उन पर मिड डे मील में 1705 करोड़ रुपए के घोटाले का मामला है। उससे बचने के कारण विधानसभा में नहीं आ रहे हैं।
टीचर की नई भर्ती कब तक आ जाएगी?
20 हजार भर्ती कर चुके हैं। बहुत सारी भर्तियां पाइपलाइन में हैं। सीएम की घोषणा के अनुसार चार लाल भर्तियां करनी है। करीब डेढ़ से दो लाख पदों पर भर्ती होने के बाद सब पद भर जाएंगे।