राजस्थान विधानसभा चुनाव से पहले DNA का मुद्दा BJP के लिए बन सकता है कोढ़ में खाज !
राजस्थान लोकसभा चुनाव 2024 में बेहद कमजोर दिखी बीजेपी के लिए आने वाले विधानसभा उप चुनाव अग्नि परीक्षा जैसे हैं. जिन 5 सीटों पर विधानसभा उपचुनाव होने हैं, वहां पार्टी की स्तिथि अच्छी नहीं है, उस पर भजनलाल सरकार के मंत्री मदन दिलावर और भारतीय आदिवासी पार्टी के राजकुमार रोत के बीच जारी जुबानी जंग, DNA की जांच तक पहुंच चुकी है, जो बीजेपी के लिए कोढ़ में खाज बन सकती है.
लोकसभा चुनाव 2024 : राजस्थान लोकसभा चुनाव 2024 में बेहद कमजोर दिखी बीजेपी के लिए आने वाले विधानसभा उप चुनाव अग्नि परीक्षा जैसे हैं. जिन 5 सीटों पर विधानसभा उपचुनाव होने हैं, वहां पार्टी की स्तिथि अच्छी नहीं है, उस पर भजनलाल सरकार के मंत्री मदन दिलावर और भारतीय आदिवासी पार्टी के राजकुमार रोत के बीच जारी जुबानी जंग, DNA की जांच तक पहुंच चुकी है, जो बीजेपी के लिए कोढ़ में खाज बन सकती है.
सियासी गणित को समझें तो 8 महीने पहले बनी भारत आदिवासी पार्टी के राजस्थान के साथ ही मध्यप्रदेश में 4 विधायक हैं. चौरासी विधानसभा में उपचुनाव होना है, जहां भारत आदिवासी पार्टी का दबदबा पहले से हैं. ऐसे में ये सीट भी पार्टी के खाते में जा सकती है.
बात झुंझुनूं विधानसभा सीट की करें तो ये कांग्रेस की परंपरागत सीट है और कांग्रेस आखिरी बार 2003 में यहां हारी थी और सुमित्रा सिंह ने बीजेपी के टिकट पर जीत हासिल की थी. लेकिन इस बार लोकसभा चुनाव में कांग्रेस ने सीट पर कब्जा फिर कर लिया है. ये सीट निकालना भी बीजेपी के लिए मुश्किल होगा.
देवली उनियारा और दौसा सीट की बता करें तो मीणा और गुर्जर बाहुल्य इस सीट पर, कांग्रेस अपनी जीत को पक्का मान रही है. वजह है इन दोनों ही सीटों पर सचिन पायलट का खास प्रभाव है. दौसा लोकसभा सीट भी कांग्रेस के नाम ही रही है. अब रही बात खींवसर विधानसभा सीट की. जहां हनुमान बेनीवाल अपनी पार्टी की जीत को पक्का बता चुके हैं. कुल मिलाकर 5 विधानसभा सीटों के उपचुनाव में एक भी सीट बीजेपी निकाल लें तो बड़ी बात होगी.
इस बीच राजकुमार रोत का सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X किया पोस्ट वायरल है. पोस्ट में लिखा है है कि- राजधानी जयपुर में पत्रिका गेट पर शिक्षा मंत्री मदन दिलावर के आदिवासी समुदाय को लेकर दिए गए, बयान के खिलाफ ST-SC, OBC, माइनॉरिटी औप अन्य समुदाय के समस्त साथियों ने मिलकर आक्रोश व्यक्त किया. आप सभी साथियों की मदद से अवश्य मंत्री को लोकतंत्र और हमारी ताकत का एहसास करवायेंगे.
जहां एक तरफ विधानसभा उपचुनाव पास हैं, तो वहीं बीजेपी के अंदरखाने सब कुछ ठीक नहीं है. वसुंधरा राजे का- आज तो लोग उसी अंगुली को पहले काटने का प्रयास करते हैं- वाला बयान ये साफ कर चुका है, कि पार्टी में अब उनकी सुनी नहीं जा रही है. ऐसे में विधानसभा उपचुनाव में कोई मास्टर प्लान ही अब बीजेपी को कोई सीट दिला सकता है.