जिस कंपनी में नौकरी की उसी के एजेंट को लूटा:वारदात के बाद पहाड़ियों में भाग जाते थे; 3 पुलिस की गिरफ्त में, 2 फरार
जिस कंपनी में नौकरी की उसी के एजेंट को लूटा:वारदात के बाद पहाड़ियों में भाग जाते थे; 3 पुलिस की गिरफ्त में, 2 फरार

सीकर : सीकर की कोतवाली थाना पुलिस और जिला विशेष पुलिस ने बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया है। टीम ने पिछले कई महीनों से जिले के अलग-अलग इलाकों में हो रही भारत फाइनेंस कंपनी के कलेक्शन एजेंटों से लूट के मामले में मास्टरमाइंड सहित 3 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। हालांकि, मामले में अभी दो आरोपी फरार है। जिनकी पुलिस तलाश कर रही है।
भागने की कोशिश से बाइक से गिरे बदमाश
दरअसल जिले में रींगस, नेछवा, लक्ष्मणगढ़,सदर और उद्योगनगर थाना इलाके में कंपनी के कलेक्शन एजेंटों के साथ वारदात हुई। इसमें लुटेरों ने लाखों रुपए लूटे। घटना के बाद से लगातार पुलिस आरोपियों के पीछे लगी हुई थी। इसी बीच डीएसटी टीम के कॉन्स्टेबल अंकुश को मुखबिर के जरिए सूचना मिली कि गैंग के सदस्य सीकर में वारदात को अंजाम देने के लिए आ रहे हैं।
ऐसे में कोतवाली पुलिस और डीएसटी टीम ने सीकर में नानी चौराहे की तरफ नाकाबंदी की। वहां एक अपाचे बाइक पर तीन युवक आते हुए दिखाई दिए। पुलिस को देखकर उन्होंने बाइक को घुमाया। जब मौके पर मौजूद टीम ने उन्हें पकड़ने की कोशिश की तो तीनों बदमाश बाइक से नीचे गिर गए।
देशी पिस्टल बरामद हुई
जब पुलिस ने उनसे पूछा तो उन्होंने अपना नाम विकास गुर्जर,सचिन और शिशपाल बताया। पुलिस को उनके पास से एक देशी पिस्टल और चार जिंदा कारतूस भी मिले। इसके बाद पुलिस ने तीनों आरोपी विकास गुर्जर (20) पुत्र ताराचंद गुर्जर निवासी हासियावास, कोटपूतली, सचिन (19) उर्फ एस के पुत्र भोमाराम गुर्जर निवासी हासियावास, कोटपूतली और शिशपाल (22) पुत्र धनसी निवासी हासियावास, कोटपूतली को पकड़कर गिरफ्तार कर लिया। इनमें विकास ने भारत फाइनेंस कंपनी के कलेक्शन एजेंटों से रींगस, सदर थाना सीकर, नेछवा और लक्ष्मणगढ़ में लूट की वारदात करना कबूला है।

जिस कंपनी से टर्मिनेट हुआ उसी में लूट
इस गैंग का मास्टरमाइंड विकास गुर्जर है। जो पहले फाइनेंस कंपनी में नौकरी कर चुका है। लेकिन उसे कंपनी ने टर्मिनेट कर दिया था। लेकिन विकास को पता था कि कंपनी के कलेक्शन एजेंट किस दिन और किस समय कलेक्शन करने के लिए जाते हैं। ऐसे में उसने अपने साथ अपने ही गांव और अन्य कई साथियों को जोड़ा। पहले जिन दो आरोपियों के साथ उसने वारदात की। वह अभी तक पुलिस पकड़ से दूर है। अब गिरफ्तार हुए आरोपी सचिन और शिशपाल उसी के गांव के रहने वाले हैं। इन्हें पहली बार ही वह लूट में शामिल करने वाला था। लेकिन उसके पहले ही पुलिस ने तीनों को धर दबोचा।
पुलिस के मुताबिक आरोपी विकास अपने साथियों के साथ लूट की वारदात को अंजाम देने के बाद नीमकाथाना,पाटन और कोटपूतली की पहाड़ियों में फरारी कटता था। जिस दिन उन्हें लूट की वारदात को अंजाम देना होता था उस दिन जल्दी सुबह वहां से रवाना होकर आते और फिर लूट की वारदात करके ग्रामीण क्षेत्र के रास्ते वापस वहां चले जाते। फिलहाल पुलिस का मानना है कि आरोपियों से अन्य भी कई वारदात का खुलासा होने की संभावना है।
आरोपियों की गिरफ्तारी में सबसे अहम भूमिका जिला विशेष पुलिस के कांस्टेबल अंकुश कुमार की रही। इसके अलावा टीम में कोतवाली थाने के कांस्टेबल लक्ष्मणराम, दिलीप कुमार, उद्योग नगर थाने के कांस्टेबल बलबीर, क्यूआरटी टीम के विजयपाल, आईजी ऑफिस सीकर के कांस्टेबल महावीर सहित साईबर सेल, डीएसटी टीम और कोतवाली पुलिस की टीम शामिल रही।