खेतड़ी में संविधान दिवस समारोह का आयोजन:युवाओं को महापुरुषों के जीवन से प्रेरणा लेकर आगे बढ़ने का किया आह्वान
खेतड़ी में संविधान दिवस समारोह का आयोजन:युवाओं को महापुरुषों के जीवन से प्रेरणा लेकर आगे बढ़ने का किया आह्वान

खेतड़ी : खेतड़ी कस्बे के अंबेडकर पार्क में मंगलवार को अंबेडकर मेघवंशी विकास समिति द्वारा संविधान दिवस का भव्य आयोजन किया गया। कार्यक्रम में बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित कर युवाओं को उनके जीवन से प्रेरणा लेकर समाज और राष्ट्र निर्माण में योगदान देने का आह्वान किया गया।
समारोह की अध्यक्षता संस्था के संरक्षक श्रवणदत्त नारनौलिया ने की, जबकि मुख्य अतिथि बार एसोसिएशन के अध्यक्ष एडवोकेट हवा सिंह बबेरवाल थे। कार्यक्रम की शुरुआत संविधान निर्माता बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित कर की गई।
मुख्य अतिथि एडवोकेट हवा सिंह बबेरवाल ने युवाओं को संबोधित करते हुए कहा कि बाबा साहेब का जीवन प्रेरणा का स्रोत है। उन्होंने समाज को नशे की लत और अन्य बुराइयों से बचाने की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि युवाओं को संस्कारित बनाना और उन्हें समाज की मुख्यधारा से जोड़ना समय की मांग है। बबेरवाल ने प्रतिभावान युवाओं को प्रोत्साहित करने और समाज के विकास में उनकी भागीदारी सुनिश्चित करने की अपील की।
कार्यक्रम में सामाजिक मुद्दों पर गहन चर्चा हुई। वक्ताओं ने समाज में फैली कुरीतियों को दूर करने और संगठन की शक्ति से सामाजिक गतिविधियों को बढ़ावा देने की आवश्यकता पर बल दिया। इस दौरान यह भी कहा गया कि किसी भी समाज को विकास के मार्ग पर ले जाने के लिए शिक्षा अत्यंत महत्वपूर्ण है।
अध्यक्ष श्रवणदत्त नारनौलिया ने अपने संबोधन में कहा कि समाज को संगठित रखकर ही प्रगति की राह पर आगे बढ़ा जा सकता है। उन्होंने युवाओं से बाबा साहेब के जीवन मूल्यों को अपनाने और उनके आदर्शों पर चलने की प्रेरणा लेने का आह्वान किया।
उपस्थित गणमान्य लोग
समारोह में जयदयाल सिंह गोठवाल, छाजूराम मेहरड़ा, प्रकाश मेहरड़ा, रवि मरोड़िया, भगतसिंह, गोविंद चिरानी, प्रमोद बबेरवाल, आनंद कुमार, दलीप, विष्णु नायक, पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष निरंजन लाल सैनी, विक्रम सैनी, कर्ण सैनी, मोहम्मद जफर खान, संदीप कुमार, गुलशन कुमार, सीताराम, विकास, उमेश कुमार, कृष्ण, पीयूष, मयंक, सचिन, और राकेश कुमार सहित अनेक लोग उपस्थित रहे।
कार्यक्रम के अंत में बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर के जीवन और उनके द्वारा दिए गए संविधान की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए युवाओं को उनके आदर्शों का अनुसरण करने का संदेश दिया गया।