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लोगों को मिल सकेगी सस्ती और निर्बाध बजरी:सीएम भजनलाल ने RSMML को स्वीकृत की तीन खनन पट्टों की एलओआई


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लोगों को मिल सकेगी सस्ती और निर्बाध बजरी:सीएम भजनलाल ने RSMML को स्वीकृत की तीन खनन पट्टों की एलओआई

लोगों को मिल सकेगी सस्ती और निर्बाध बजरी:सीएम भजनलाल ने RSMML को स्वीकृत की तीन खनन पट्टों की एलओआई

जयपुर : राज्य सरकार ने राजस्थान स्टेट माइन्स एंड मिनरल्स लिमिटेड (आरएसएमएमएल) को भीलवाड़ा जिले में बज़री खनन के तीन पट्टों की एलओआई जारी कर दी है। सीएम भजनलाल शर्मा ने एलओआई को स्वीकृति प्रदान की है।

सरकार के इस फैसले के बाद आमजन को सस्ती औऱ निर्बाध बज़री की उपलब्धता सुनिश्चित हो सकेगी। मुख्यमंत्री स्तर पर स्वीकृति के बाद खान एवं पेट्रोलियम विभाग द्वारा आरएसएमएमएल को भीलवाड़ा जिले की तहसील सवाईपुर के ग्राम सोपुरा, अडसीपुरा, आकोला में 76.77 हैक्टेयर औऱ ग्राम आकोला में 96.99 हैक्टेयर व 67.70 हैक्टेयर राजकीय भूमि गैर मुमकिन नदी के खनिज बजरी के ये प्लॉट आवंटित किए जाएंगे। ये आवंटन बजरी खनन पर रॉयल्टी के बराबर अतिरिक्त प्रीमियम के आधार पर किए जाएंगे।

भीलवाड़ा में नए औद्योगिक क्षेत्र के लिए होगा जमीन का आवंटन

मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने सौ दिवसीय कार्य योजना के अंतर्गत रीको को भीलवाड़ा जिले में नवीन औद्योगिक क्षेत्र के लिए भूमि आवंटित किए जाने की स्वीकृति प्रदान कर दी है। मुख्यमंत्री के इस फैसले से भीलवाड़ा जिले में औद्योगिक विकास को गति मिलेगी और स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के पर्याप्त अवसर सृजित होंगे।

मुख्यमंत्री की स्वीकृति के बाद अब राजस्व विभाग द्वारा भीलवाड़ा जिले की तहसील हुरड़ा स्थित राजस्व ग्राम रूपाहेली, चतरपुरा, सुल्तानुपुरा एवं बड़ला में 214 हैक्टेयर भूमि रीको को औद्योगिक क्षेत्र स्थापित करने के लिए आवंटित की जाएगी। राज्य सरकार की सौ दिवसीय कार्य योजना के तहत रीको द्वारा भीलवाड़ा जिले के इस क्षेत्र में टैक्सटाइल पार्क स्थापित किया जाना प्रस्तावित है।

सरकारी अधिकारियों के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही को मंजूरी

सीएम भजनलाल शर्मा ने राज्य सेवा के अधिकारियों के विरुद्ध लंबित अनुशासनात्मक कार्रवाई एवं अभियोजन स्वीकृति के 31 विचाराधीन प्रकरणों का निस्तारण किया है। कुल निस्तारित प्रकरणों में से 14 प्रकरणों में अधिकारियों पर लगाए गए आरोप प्रमाणित होने पर सीसीए नियम 16 के अंतर्गत दण्डित किया गया। वहीं एक प्रकरण में आरोप अप्रमाणित पाए जाने पर समाप्त किया गया। 6 प्रकरणों में सेवानिवृत्त अधिकारियों के विरुद्ध प्रमाणित आरोपों का अनुमोदन किया गया।

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