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‘एक देश एक चुनाव’ नहीं, ‘एक देश एक शिक्षा’ ज़रूरी: केजरीवाल


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नई दिल्लीराज्य

‘एक देश एक चुनाव’ नहीं, ‘एक देश एक शिक्षा’ ज़रूरी: केजरीवाल

अरविंद केजरीवाल ने बीजेपी के ‘वन नेशन वन इलेक्शन’ के प्रस्ताव पर जोरदार तंज कसा है। उन्होंने कहा कि इससे आम आदमी का भला क्या लेना-देना! केजरीवाल ने कहा कि जो शिक्षा अडानी और अंबानी के बच्चों को मिल रही है, वही शिक्षा मज़दूर-किसान के बच्चों को भी मिले तो फायदा होगा। आम आदमी पार्टी के नेता ने कहा कि ‘एक देश एक चुनाव’ की नहीं, बल्कि ‘एक देश एक शिक्षा’ की ज़रूरत है। उन्होंने कहा कि सबको समान शिक्षा मिलनी चाहिए।

आम आदमी पार्टी के प्रमुख और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल रविवार को हरियाणा के भिवानी में एक जनसभा को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा, “भाजपा ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ के बारे में बात कर रही है, लेकिन हम ‘एक देश, एक शिक्षा’ चाहते हैं, जहां गरीब और अमीर के बच्चों को समान स्तर की शिक्षा मिले।”

दिल्ली के मुख्यमंत्री ने ‘एक देश एक चुनाव’ को बीजेपी का हथकंडा क़रार दिया। उन्होंने जनसभा में लोगों से पूछा कि इससे आम लोगों को क्या मिलेगा। उन्होंने कहा, “हम ‘एक देश, एक चुनाव’ नहीं चाहते… हमें कोई फर्क नहीं पड़ता कि एक चुनाव हो या 1000 चुनाव।”

अरविंद केजरीवाल का यह हमला तब आया है जब दो दिन पहले ही मोदी सरकार ने ‘एक देश एक चुनाव’ पर पैनल भी बना दिया है। सरकार ने ‘एक देश, एक चुनाव’ की संभावना तलाशने के लिए पूर्व राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया है।

इस फ़ैसले की ख़बर तब आई जब उससे भी एक दिन पहले ही केंद्र सरकार ने 18 से 22 सितंबर तक संसद का विशेष सत्र बुलाया है। हालाँकि इस सत्र के लिए एजेंडा साफ़ नहीं बताया गया है, लेकिन माना जा रहा है कि इस पर फ़ैसला लिया जा सकता है। प्रधानमंत्री मोदी पिछले कई वर्षों से ‘एक देश एक चुनाव’ पर जोर देते रहे हैं और इसकी ज़रूरत बताते रहे हैं।
‘एक देश, एक चुनाव’ का विचार पूरे देश में लोकसभा और विधानसभा के चुनाव एक साथ कराने के लिए है। नवंबर-दिसंबर में पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं और इसके बाद अगले साल मई-जून में लोकसभा चुनाव होंगे।

लोकसभा चुनाव को लेकर विपक्षी दलों के कई बड़े नेता सँभावना जता चुके हैं कि मोदी सरकार दिसंबर महीने में ही लोकसभा के चुनाव कर सकती है। ऐसी संभावना जताने वालों में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी भी शामिल हैं।

केजरीवाल ने भी पहले ‘एक देश, एक चुनाव’ के पीछे के तर्क पर सवाल उठाया था और कहा था कि ऐसी व्यवस्था से आम आदमी को क्या मिलेगा। उन्होंने लिखा था, ‘देश के लिए क्या महत्वपूर्ण है? एक देश एक चुनाव या एक राष्ट्र एक शिक्षा। एक राष्ट्र एक इलाज (अमीर हो या गरीब, सबके लिए समान इलाज)”।

पार्टी के एक कार्यक्रम के लिए पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ भिवानी का दौरा कर रहे केजरीवाल ने आरोप लगाया कि हरियाणा में लोग मौजूदा व्यवस्था से तंग आ चुके हैं और कहा कि वे बदलाव चाहते हैं।

उन्होंने कहा, ‘हरियाणा के लोग देख रहे हैं कि दिल्ली और पंजाब में कितनी बेहतर सुविधाएं दी जा रही हैं। लोग बदलाव चाहते हैं।’

हरियाणा के सीएम मनोहर लाल खट्टर ने शनिवार को बिना किसी का नाम लिए आम आदमी पार्टी पर कटाक्ष किया था और कहा था कि कई राजनीतिक पार्टियां मुफ्त देने के पक्ष में हैं। उन्होंने मुफ्त की पेशकश के बजाय भाजपा सरकार की आत्मनिर्भरता की प्रतिबद्धता पर जोर दिया।

इसके जवाब में केजरीवाल ने एक्स पर लिखा, ‘खट्टर साहब, हम दिल्ली में निःशुल्क और विश्व स्तरीय शिक्षा, निःशुल्क और विश्व स्तरीय इलाज की सुविधाएँ देते हैं। हम मुफ़्त और 24 घंटे बिजली और पानी उपलब्ध कराते हैं। ये सारे काम हमने पंजाब में भी शुरू कर दिए हैं। और जनता इन सुविधाओं से बेहद खुश है। जल्द ही हरियाणा के लोगों को भी इसका लाभ मिलेगा।’

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