पर्यटन विकास के लिए विरासत का संरक्षण आवश्यक : दयाशंकर जांगिड़
पर्यटन विकास के लिए विरासत का संरक्षण आवश्यक : दयाशंकर जांगिड़

जनमानस शेखावाटी संवाददाता : रविन्द्र पारीक
नवलगढ़ : नवलगढ़ के एसएन बीएड कॉलेज सभागार में शनिवार को आयोजित विरासत का संरक्षण कार्यक्रम में डॉ दयाशंकर जांगिड़ ने कहा कि नवलगढ व शेखावाटी में पर्यटन विकास के लिए विरासत का संरक्षण आवश्यक है। यहां की संस्कृति अद्वितीय है। सेठ साहूकारों की ओर से बनवाई गई हवेलियां, उनके भित्ती चित्र, विशालकाय मंदिर, कुएं बावड़ी व छतरियां आकर्षण का केन्द्र है। प्रतिवर्ष हजारों पर्यटक इन हवेलियों व उनके भित्ती चित्र देखने आते है।
शेखावाटी के धार्मिक स्थल भी देशी पर्यटकों के लिए आकर्षण का केन्द्र है। यहां का पहनावा भी अपने आप मे आकर्षक है। इन सभी को पोदार म्यूजियम में देखा जा सकता है। पर्यटन विकास के लिए शेखावाटी की हवेलियों के मालिकों को चाहिए कि वे भित्ती चित्रों को बचाएं। हवेलियों की मरम्मत रिवाएं। हम सभी व नगरपालिका का कर्तव्य है कि शहर स्वच्छ व सुंदर हो। उचित प्रकाश की व्यवस्था हो। आवारा पशुओं को रोका जाए।
इस अवसर पर मुरलीमनोहर चौबदार ने भी यहां की हवेलियों को अद्भुत बताया। इनका संरक्षण करने की बात कही। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए प्राचार्य डॉ संतोष पिलानिया ने कहा कि अतिथियों द्वारा बताए हुए प्रेरणा स्रोत कार्यों को विद्यार्थियों को अंगीकार करना चाहिए, ताकि नवलगढ़ में विरासत को बचाया जा सके। पर्यटन का विकास हो सके। इस अवसर पर डॉ माया सांखला, व्याख्याता कमलेश कुमार, मीना सैनी, संदीप सैनी सहित कॉलेज के प्रशिक्षु विद्यार्थी मौजूद रहे।