मैं नरेन्द्र दास मोदी तीसरी बार प्रधानमंत्री की शपथ लेता हूँ
अखिल भारतीय पुस्तैनी ज्योतिष आध्यात्म पीठ (अनुसंधान एवं विकास) केन्द्र, खेतड़ी-333503 राजस्थान के अनुसंधानकर्ता ज्योतिष शिरोमणी पण्डित राजकुमार व्यासाचार्य को पुस्तैनी विरासत में मिली पुरखो द्वारा आध्यात्म एवं ज्योतिष के समस्त विषयों का प्राच्यविद्या का जन्म लेते ही जन्मघूटी एवं कानों में में ज्ञान दे दिया था। मैंने भी पुरखों से प्रेरणा लेकर श्री नरेन्द्र मोदी की कुण्डली का अनुसंधान एवं विश्लेषण किया है। जो हम प्रथम बार भविष्यवाणी कर रहे हैं वह गलत ना हो जाये इसके लिए हमने हमारी पुस्तेनी एवं हमारी संग्रह की हुयी ज्योतिष शास्त्रों के प्राचीन ग्रन्थों से ज्योतिष के तमाम विषयों को हमने देखा है। क्योंकि ज्योतिष शास्त्र में जन्मकुण्डली ही सटीक परिणाम नहीं देती है। गुणा भाग करने पर गलत समय आने आने पर , गलत तारीख व गलत समय होने पर, अनभिज्ञ ज्योतिषि के बनाने पर जन्मकुण्डली गलत बन जाती है। जबकि किसी व्यक्ति की जन्मकुण्डली नहीं होने पर प्रश्न लग्न के द्वारा सटीक परिणाम भविष्यवाणी हो जाती है।
हमने नरेन्द्र मोदी की हस्तरेखा देखी है :
अंक ज्योतिष, वास्तुशास्त्र, मुहूर्त शास्त्र, सकून शास्त्र, आकृति शास्त्र (मनुष्य के शरीर की बनावट-तिल, मस्सा, लहसुन एडी से लेकर चोटी तक इत्यादि अनेक विषयों पर अध्ययन करके हमने भविष्यवाणी की है व पुनः मोदी तीसरी बार प्रधानमंत्री की शपथ लेंग, 2024 में प्रधानमंत्री बनेंगे। हमारी ईश्वरीय साधना एवं ज्योतिष के समस्त विषयों की गणना और हमारे पूज्यनीय ज्योतिष के तमाम विषयों के विद्वानों से राय मशवरा करके हमने भविष्यवाणी की है-250 सीट आने पर भी मोदी पुनः तीसरी बार प्रधानमंत्री बनेंगे, उनको कोई नहीं रोक सकता। इन पर ईश्वरीय असीम कृपा है। ये देश के करोड़ों व्यक्तियों के दिल में बस रहे हैं।
ग्रहा राज्यं प्रयच्छन्ति, ग्रहा राज्यं हरन्ति च
ग्रहास्तु व्यापितं सर्व, त्रैलोक्यं सचराचरम्ं
(जोतिष शास्त्रम महातम बताता है) ग्रह योग ही राज आता है और राजा बनता है और ग्रहों की कुचाल से राज हट जाता है और राज छूट जाता है। त्रैलोक ग्रहों से ही प्रभावित है। ग्रह ही सुख-दूख देते हैं।
नरेन्द्र दास मोदी की जन्मकुण्डली –
जन्म स्थान – वड नगर महसाना गुजरात तारीख – 17 सितम्बर 1950 जन्म समय – सुबह 10ः20 बजे
वृष लग्न की जन्मपत्री
यह संख योग बनाता है जोकि बहुत पवित्र व ओजस्वी सरल स्वभाव होता है। अनुराधा नक्षत्र है।
गज केशरी योग है। बृहस्पति की स्थिति केन्द्र में है। अमर योग कालख योग है। अनुराधा योग, लक्ष्मीनारायण योग है। पूर्जजन्म के संस्कार भी इस जीवन में लाभ हानि देते हैं। इसका जो ग्रहस्थी जीवन है वह जन्मकुण्डली प्रदशित नहीं कर रहा है, सन्यासी योग प्रदर्शित कर रहा है। राजा रूप में सन्यासी होकर भी प्रजा की सेवा कर रहा है।
जीवन रेखा के ऊपर त्रिभुज है, मस्तिष्क रेखा जोकि मन को चला रही है व दृड़ संकल्प देती है। सूर्य रेखा सीधी है। मंगल क्षेत्र भी वृहद है जो निर्णय लेने की शक्ति रखती है। बुद्ध रेखा भी अतिश्रेष्ठ है जो बातों के धनी है जो देशहित में कार्य करते हैं। गुरू पर्वत से सीधी रेखा जा रही है जो ज्ञानवान व तरक्की देने वाली है। जीवन रेखा दोमुखी है जो ग्रहस्थ आश्रम को छोड़कर साधना और साधुवाद की तरफ ले जाती है। जीवन रेखा के पास त्रिभुज बना हुआ है। मस्तिष्क रेखा मन में क्या चल रहा है किसी को पता नहीं चलता अपने आप ही निर्णय लेते हैं। सूर्य रेखा भी सीधी है केाई कटापटी नहीं है, प्रबल है, कोई लांछन नहीं लगने नहीं देती है। रेखायें हमेशा एक जैसी नहीं रहती है घटती बढती रहती है। अंगुठा ही एक ऐसा अंग है कभी नहीं बदलता जिससे भी ज्योतिष का पूरा अध्ययन किया जा सकता है क्योंकि वह बदलता नहीं है। मस्तिष्क रेखा व पाद रेखा से भी ज्योतिष का अध्ययन किया जाता है।
ज्योतिष शिरोमणी पं. राजकुमार व्यासाचार्य, अनुसंधानकर्ता, साधना करते हुये।
स्वप्न सुन्दरी साधना – स्वप्न सुन्दरी की साधना करने पर सपने में ही बता देती है कि क्या होने वाला है। स्वपन शास्त्र सबसे प्राचीन है इस पर हमने बहुत अध्ययन व साधना की है। हमारे जीवन में घटना घटी थी। सपने का फल शुभ भी होता है और अशुभ भी होता है। इसके लिए हमने बहुत ही प्राचीन ग्रन्थों का रिसर्च एवं अनुसंधान किया है। हमें साधना द्वारा ज्ञात हुआ कि मोदी पुनः प्रधानमंत्री बनेंगे 2024 में कोई नहीं रोक सकता।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी प्रधानमंत्री निवास में जहां रहते हैं वो वास्तुशास्त्र की दृष्टि से अत्यधिक श्रेष्ठतम है।
मुहूर्त शास्त्र ये दिल्ली सही मुहूर्त से आये थे और सही मुहूर्त पर प्रधानमंत्री की गद्दी पर बैठे थे सही समय पर बनारस गये थे, समही समय ही एम पी का फार्म भरा था और आजीवन प्रधानमंत्री रहेंगे, इनके राजनीति सन्यास लेने पर दूसरा भारतीय जनता पार्टी का प्रधानमंत्री भी इनके ईशारे व इच्छा से ही बनेगा।
ये अच्छे शकून से ही दिल्ली आये हैं और राजनीति में आये हैं। शुभ शकुन ही मनुष्य के जीवन लाभदायक होता है व अपशकुन नूकशानदायक होता है। सांड हुकार भरता है तो आदमी राजा आदमी राजा व करोड़पति बनता है आदमी को लाभ ही लाभ होता है। गाय के छींक देने पर आदमी की मृत्यु होती या दुर्घटना होती है। यात्रा में जाते समय बुजुर्ग मुर्दा मिल जाता है तो लाभ दायक होता है और जवान मुर्दे के मिलने पर नुकशानदायक होता है। गधे का कुत्ते आदि अलग-अलग शकुन होता। सही मुहूर्त से कार्य नहीं करने पर बड़े-बड़े कल कारखाने नष्ट होता हैं। मुहूर्त से आदमी तरक्की करता है। सुरक्षित लोटा हैै।
नरेन्द्र मोदी लोक सभा चुनाव होते ही कन्या कुमारी में साधना करने चल पड़े। इन्होंने खूब साधनायें की हैं। भजन-कीर्तन, साधना से मनुष्य को कई आश्चर्यजनक वस्तुयें प्राप्त होती हेै, जो स्वपन में भी नहीं देखी हों, इच्छाओं की पूर्ति होती है। इसके साथ-2 ग्रहों की शान्ति होती है। पूरा सिस्टम ग्रहों से ही चलायमान है।
ग्रहों की शान्ति के लिए हवन, मंत्र और ग्रहों से सम्बन्धित दान ही ग्रहों की शान्ति करेंगे। छः ग्रहों की शान्ति के लिए सूर्य, चन्द्रमा, मंगल, बुद्ध, ब्रहस्पति और शुक्र इनका दान ब्राहमण के लिए आया है जोकि सदाचारी और भजनानन्दी है और तीन ग्रहों का दान शनि, राहू, केतु भार्गव जाति के लिए आया है। यही ग्रहों की शान्ति करेंगे यही आश्चर्यजनक फाय दा करेंगे। टैरी ट्रष्ट इससे कोई लाभ नहीं होगा ये तो टैक्स बचाने व ख्याति प्राप्त करने का जरिया है। और भिखारी को दान देने से भी कोई लाभ नहीं होने वाला, इससे भी ग्रहों की शान्ति नहीं होगी। इसलिए ग्रहों की शान्ति के लिए समय समय पर किसी योग्य ज्योतिषि से जन्मपत्रि दिखावें और अपने ग्रहों की दशा के बारे में पूछते रहें। जो सन्यासी एक आसन पर स्थित है दिगम्बर है नंगा है होकर ध्यान में निमग्न रहते हैं। केवल मात्र जलवायु का भक्षण करने वाले संसार की सभी सुख सुविधाओं का परित्याग किये हुए निर्मोही सन्यासी अपना भविष्य पूछते रहते हैं। सभी प्रकार के सुखों का परित्याग किये हुए ऐसे मोक्षार्थी मुमुसुजन भी ग्रह नक्षत्रों की गणना करने वाले देवग्य से अपने भूत भविष्य की जिज्ञासा करते हैं तो फिर ग्रहस्थी को भी समय समय पर अपना भविष्य दिखाते रहना चाहिये। ज्योतिष का कितना भी प्रकाण्ड विद्वान हो उसे अपना भविष्य कभी नहीं देखना चाहिये। हमने भी हमारी गुप्त साधना व ज्योतिष गणना के द्वारा ही प्रथम बार यह बताया है कि मोदीजी तीसरी बार पुनः प्रधान मंत्री बनेंगे।