बहुमंजिला इमारत में आग; लाइब्रेरी में मौजूद 29 विद्यार्थियों ने सीढ़ियों से नीचे भागकर बचाई जान
बहुमंजिला इमारत में आग; लाइब्रेरी में मौजूद 29 विद्यार्थियों ने सीढ़ियों से नीचे भागकर बचाई जान

झुंझुनूं : शहर के व्यस्ततम मंडावा मोड़ इलाके में सोमवार सुबह एक कॉम्पलैक्स में अचानक आग लग गई। इस कारण 5 हजार लोगों की 80 मिनट तक सांसें अटकी रही। स्थानीय लोगों की हिम्मत और प्रशासन की सजगता से आग पर काबू पा लिया गया, जिससे कोई जनहानि नहीं हुई।
दरअसल शहर का मंडावा मोड़ सबसे ज्यादा व्यस्ततम इलाका है। यहां बने मान सिटी सेंटर कॉम्प्लैक्स में सुबह 11 बजे अचानक धुआं उठने लगा। उस वक्त वहां 29 कोचिंग स्टूडेंट और 20 से ज्यादा दुकानदार व अन्य लोग मौजूद थे। इतना ही नहीं इसके पास ओम टॉवर में संचालित कोचिंग में भी सैकड़ों बच्चे पढ़ रहे थे। बड़ी संख्या में यात्री व ग्राहक भी मौजूद थे। आग की सूचना पर मौके पर पहुंचे नगर परिषद के फायर दस्ते, पुलिस व एनडीआरएफ की टीम ने 55 मिनट में आग पर काबू पाया। जिसके बाद लोगों ने राहत की सांस ली।
उधर, आगजनी की इस घटना को साजिश के तौर पर देखा जा रहा है। कैफे में काम करने वाले मैनेजर व कुक की 7 महीने की तनख्वाह बाकी है। यह कैफे जनवरी से बंद है। बार- बार तकादा करने के बाद भी अक्षय ने मजदूरी नहीं दी तो मजदूरों ने ताला लगा दिया था। मजदूरों ने पगार दिलाने के लिए कोतवाली में भी रिपोर्ट दी थी। कैफे पर फाइनेंस लेने की बात भी सामने आ रही है। बकाया मजदूरी और लोन को इससे जोड़कर देखा जा रहा है।
शहर में बने 50 से ज्यादा बहुमंजिला इमारतों में आग रोकने के पुख्ता संसाधन नहीं है। ऐसा खुद नगर परिषद द्वारा शहर में फायर सेफ्टी को लेकर कराए सर्वे में सामने आ चुका है। लेकिन इसके बाद भी नगर परिषद के जिम्मेदार अधिकारी अब भी केवल नोटिस देने की बात कह रहे हैं। नगर परिषद के फायर ऑफिसर लोकेश कुमार ने स्वीकारते हुए कहा इन्हें नोटिस दिए गए हैं। मंडावा मोड शहर का सबसे व्यस्ततम इलाका है। इसे शहर का कोचिंग हब कहा जाता है। यहां बड़े कॉमर्शियल कॉम्पलैक्सों में कोचिंग संस्थान चल रहे हैं। इनमें हर दिन 2500 से ज्यादा बच्चे पढ़ने आते हैं। इसके पास सुभाष मार्ग पर शहर के अधिकतर डॉक्टर व 20 अस्पताल है। इनके अलावा 500 से ज्यादा दुकानें हैं। इस इलाके में आग से बड़ा खतरा पैदा हो गया था। गनीमत रही कि कैफे में गैस सिलेंडर नहीं थे।
वरना बड़ा हादसा होने की संभावना थी। दो युवक कैफे में आए थे और आग के समय मौजूद थे फिर गायब हो गए : मंडावा मोड पर मान सिटी सेंटर में घटना के वक्त मौजूद लोगों ने बताया कि उस वक्त दो युवक कैफे में थे। जो आग लगने के बाद बाहर की ओर भागे। आग फैलने तक वो घटनास्थल पर ही मौजूद रहे और उसके बाद वहां से फरार हो गए। दोनों युवकों की उपस्थिति को लेकर उनको आग लगने की घटना की पूरी जानकारी होने की बात कही जा रही है। {लोकेश कुमार गोठवाल, अग्निशमन अधिकारी : बहुमंजिला इमारतों में फायर नियमों की पालना कराने के जिम्मेदार हैं। लेकिन इस बिल्डिंग में फायर सेफ्टी उपकरण नहीं होने के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की।
बोले-नोटिस दिया था, अभी तक कार्रवाई नहीं कर पाए। {बुलकेश भांबू, सहायक अग्निशमन अधिकारी नगर परिषद : इस क्षेत्र की इमारतों की जांच की जिम्मेदारी हैं। बहुमंजिला इमारत में फायर सेफ्टी उपकरण व आपातकालीन एग्जिट नहीं होने के सवाल पर भांबू ने इमारत के काफी दिनों से बंद पड़े होने की बात कही। एनओसी की बात टाल गईं। मान सिटी सेंटर में मेरी कपड़े की दुकान है।
लाइब्रेरी से कोचिंग स्टूडेंट भागते नीचे आ रहे थे और चिल्ला रहे थे कि आग लग गई। तब मैं भी दुकान से बाहर आया और दूसरी मंजिल पर बने कैफे की ओर देखा तो काला धुआं छाया हुआ था। कॉम्प्लैक्स में बिजली की लाइन में आग लगने की संभावना को देखते हुए सबसे पहले बेसमेंट में नीचे पहुंचा और वहां बिजली के मुख्य स्वीच को ऑफ कर दिया। इसके बाद बाहर भागे।
दूसरे दुकानदारों की मदद से पड़ोस के कॉम्प्लैक्स की छत पर जाकर शीशे तोड़े, ताकि पूरे कॉम्प्लैक्स में आग नहीं फैले। सुबह करीब 11 बजे शहर के मंडावा मोड़ के मान सिटी सेंटर की चौथी मंजिल की रैंकर्स लाइब्रेरी में हम पढ़ रहे थे। तभी 11:02 बजे कैफे में से धुआं निकलता देखा। तब हम सभी सीढ़ियों के सहारे नीचे की ओर भागे।
दूसरी मंजिल पर मौजूद कैफे से उठ रहे धुएं से दम घुटने लगा। हमें भागते देख कॉम्प्लैक्स में मौजूद सात-आठ दुकानदार भी बाहर निकले। बाहर निकलने के बाद पुलिस और फायर को फोन किया। नीचे आए तब तक आग धधकने लगी। इसके 10 मिनट बाद पहली दमकल पहुंची। महज डेढ़ मिनट में उसका पूरा पानी खत्म हो गया। दूसरी और तीसरी दमकल से आग बुझाने का प्रयास जारी रहा।