SY Quraishi: ‘एक साथ चुनाव कराने पर सहमति न बने तो लोगों पर नहीं थोपें’, वन नेशन-वन इलेक्शन पर बोले कुरैशी
पूर्व मुख्य चुनाव आयुक्त एस वाई कुरैशी ने राजनीतिक फंडिंग के साधन के रूप में चुनावी बांड के इस्तेमाल किए जाने पर भी निशाना साधा। उन्होंने आरोप लगाया कि इसने धन देने की पूरी प्रक्रिया को पूरी तरह गैर पारदर्शी बना दिया है।

नई दिल्ली : पूर्व मुख्य चुनाव आयुक्त एस वाई कुरैशी ने वन नेशन-वन इलेक्शन पर निशाना साधा। एक उच्च स्तरीय समिति द्वारा देश में एक साथ चुनाव कराने की संभावनाएं तलाशे जाने के बीच कुरैशी ने कहा कि अगर एक साथ चुनाव कराने पर राष्ट्रीय स्तर पर सर्वसम्मति नहीं बनती है तो इसे लोगों पर थोपा नहीं जाना चाहिए। कुरैशी ने यह भी उम्मीद जताई कि वर्तमान चुनाव आयुक्त आगामी चुनाव में आचार संहिता के उल्लंघन के मामलों में सख्ती से कार्रवाई करेंगे।
अपनी नई किताब पर बोले कुरैशी
अपनी नई किताब ‘इंडियाज एक्सपेरिमेंट विद डेमोक्रेसी: द लाइफ ऑफ ए नेशन थ्रू इट्स इलेक्शन्स’ पर कुरैशी ने कहा कि कोई पार्टियों द्वारा मुफ्त की सौगातों का वादा करने में कानूनी तौर पर खामी नहीं तलाश सकता। साथ ही उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट भी इस प्रथा को खत्म नहीं करा सका। बताया जा रहा है कि कुरैशी की किताब भारत में चुनावों के इतिहास, प्रक्रियाओं और राजनीति पर गहराई से प्रकाश डालती है।